मशहूर रैपर Eminem ने Meta पर ठोका 900 करोड़ का केस

मशहूर अमेरिकी रैपर एमिनेम ने फेसबुक, इंस्टाग्राम और व्हाट्सएप की पैरेंट कंपनी मेटा के खिलाफ 900 करोड़ रुपये (लगभग 108 मिलियन डॉलर) का मुकदमा दायर किया है। एमिनेम का आरोप है कि मेटा ने उनकी अनुमति के बिना उनके गानों का इस्तेमाल किया।
यह केस डेट्रॉयट की फेडरल कोर्ट में उनकी पब्लिशिंग कंपनी, एट माइल स्टाइल, ने दायर किया है। मामला मेटा के म्यूजिक लाइब्रेरी और इंस्टाग्राम के रील्स रीमिक्स जैसे फीचर्स से जुड़ा है, जहां एमिनेम के गाने बिना लाइसेंस के इस्तेमाल हुए।
क्या है पूरा मामला?
मुकदमे में दावा किया गया है कि मेटा ने एमिनेम के गानों को अपनी ‘म्यूजिक लाइब्रेरी’ में शामिल किया और यूजर्स ने इनका इस्तेमाल रील्स रीमिक्स और ओरिजिनल ऑडियो जैसे टूल्स के जरिए किया। इसके चलते उनके गाने लाखों वीडियोज में इस्तेमाल हुए और अरबों बार स्ट्रीम हुए। यह सब बिना किसी वैध लाइसेंस के हुआ। एट माइल स्टाइल का कहना है कि मेटा ने 2020 में न्यूयॉर्क की डिजिटल लाइसेंसिंग फर्म ऑडियाम के जरिए उनके गानों तक पहुंच बनाई थी, लेकिन यह डील गैरकानूनी थी।
मेटा पर कॉपीराइट उल्लंघन का आरोप
मुकदमे में कहा गया है कि मेटा ने कई तरह से कॉपीराइट का उल्लंघन किया। कंपनी ने न तो एमिनेम के गानों के लिए सही लाइसेंस लिया और न ही उनकी अनुमति मांगी। एट माइल स्टाइल का दावा है कि मेटा डिजिटल मिलेनियम कॉपीराइट एक्ट (DMCA) के ‘सेफ हार्बर’ नियमों का फायदा भी नहीं उठा सकता, क्योंकि उसने जानबूझकर नियम तोड़े। कंपनी ने पहले भी 2013 में एमिनेम के गाने ‘अंडर द इन्फ्लुएंस’ का इस्तेमाल एक विज्ञापन में बिना इजाजत किया था।
क्या मांग रही है एमिनेम की कंपनी?
एट माइल स्टाइल ने मेटा से मुआवजे की मांग की है, जो मेटा की विज्ञापन कमाई या कॉपीराइट उल्लंघन के हिसाब से तय होगा। साथ ही, वे मेटा को एमिनेम के गानों के इस्तेमाल पर स्थायी रोक लगाने की मांग कर रहे हैं। अगर यह केस एमिनेम के पक्ष में जाता है, तो मेटा को 900 करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हो सकता है।
पहले भी हो चुके हैं विवाद
यह पहली बार नहीं है जब एमिनेम की कंपनी ने कॉपीराइट को लेकर मुकदमा किया है। 2019 में एट माइल स्टाइल ने स्पॉटिफाई पर 240 से ज्यादा गानों के गलत लाइसेंसिंग का आरोप लगाया था, लेकिन उस केस में स्पॉटिफाई जीत गया। इसके अलावा, एट माइल स्टाइल ने ऐप्पल और स्पॉटिफाई जैसे बड़े प्लेटफॉर्म्स के खिलाफ भी केस लड़े हैं। मेटा के खिलाफ यह नया मुकदमा म्यूजिक इंडस्ट्री और टेक कंपनियों के बीच कॉपीराइट विवादों को फिर से सुर्खियों में ला रहा है।