बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व: अब दूसरों को कैसे दिखाएंगे वन्यजीवों के संग बिताए यादगार पल?

उमरिया स्थित बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में कोर क्षेत्र की जंगल सफारी के दौरान मोबाइल फोन उपयोग पर पूरी तरह रोक लगा दी गई है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के तहत पर्यटकों को प्रवेश से पहले मोबाइल जमा करना होगा। इसका उद्देश्य वन्यजीव संरक्षण और जंगल की शांति बनाए रखना है।

मध्य प्रदेश के उमरिया जिले में स्थित बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में अब जंगल सफारी का अनुभव पूरी तरह बदलने जा रहा है। कोर क्षेत्र में पर्यटकों के लिए मोबाइल फोन के उपयोग पर पूर्ण प्रतिबंध लागू कर दिया गया है। नए नियम के तहत पर्यटकों को सफारी पर जाने से पहले अपने मोबाइल फोन बंद कर सुरक्षित रूप से जमा कराने होंगे। बिना मोबाइल फोन जमा किए किसी भी पर्यटक को कोर एरिया में प्रवेश की अनुमति नहीं दी जाएगी।

पार्क प्रबंधन का कहना है कि यह फैसला जंगल और वन्यजीवों के प्रति पर्यटकों की संवेदनशीलता बढ़ाने के उद्देश्य से लिया गया है। बीते वर्षों में देखा गया था कि अधिकांश पर्यटक सफारी के दौरान फोटो खींचने, वीडियो बनाने और सोशल मीडिया के लिए रील्स रिकॉर्ड करने में ही व्यस्त रहते थे। इससे न केवल उनका ध्यान वन्यजीवों से भटकता था, बल्कि कई बार जानवरों की स्वाभाविक गतिविधियां भी प्रभावित होती थीं।

बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व के क्षेत्र संचालक डॉ. अनुपम सहाय के अनुसार मोबाइल फोन के अत्यधिक उपयोग से जंगल की शांति भंग हो रही थी। उन्होंने बताया कि अगले दो से तीन दिनों के भीतर सभी प्रवेश द्वारों पर मोबाइल जमा करने के लिए विशेष स्टॉल लगाए जाएंगे। यहां पर्यटकों को सुरक्षित व्यवस्था के तहत अपने फोन जमा करने की सुविधा मिलेगी, ताकि उन्हें किसी प्रकार की असुविधा न हो।

यह निर्णय सुप्रीम कोर्ट के 17 नवंबर 2025 के आदेश के अनुपालन में लिया गया है। आदेश में देश के सभी टाइगर रिजर्व के कोर क्षेत्रों में मोबाइल फोन के उपयोग पर रोक लगाने के निर्देश दिए गए थे। प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्यजीव) शुभरंजन सेन ने इस संबंध में सभी रिजर्व प्रबंधन को स्पष्ट निर्देश जारी किए थे, जिसके बाद बांधवगढ़ प्रबंधन ने तुरंत अमल शुरू कर दिया।

नए नियम से सोशल मीडिया पर जंगल की तस्वीरें और वीडियो साझा करने का चलन कम होगा। हालांकि विशेषज्ञ मानते हैं कि इससे वन्यजीव संरक्षण को मजबूती मिलेगी और पर्यटकों को प्रकृति के साथ वास्तविक जुड़ाव का अवसर मिलेगा। बाघों की अच्छी संख्या के लिए प्रसिद्ध बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व में हर साल बड़ी संख्या में पर्यटक आते हैं। प्रबंधन को उम्मीद है कि यह कदम जिम्मेदार पर्यटन को बढ़ावा देगा और जंगल का मूल स्वरूप बनाए रखने में मददगार साबित होगा।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button