अब बची हुई चायपत्ती से आसानी से कर सकते हैं किचन के ये काम

टिप्स
– चायपत्ती से एक बार चाय बनाने के बाद आप इसे सुखाकर दोबारा भी इस्तेमाल में ला सकते हैं. इसकी चाय भी स्वाद वाली बनेगी. लेकिन इस बात का ध्यान रख लें कि चायपत्ती को धूप में सुखाकर ही दोबारा उपयोग करें.
– आप चायपत्ती का इस्तेमाल छोले को स्वादिष्ट बनाने में भी कर सकते है. इसके लिए चायपत्ती को पानी में डाल लें और उस पानी को उबाल कर उसकी थोड़ी-सी मात्रा काबुली चने में डाल दें. इससे छोले का रंग आकर्षित दिखेगा और खुशबू व स्वाद भी अच्छा आएगा.
– चायपत्ती/ टी-बैग को गुनगुने पानी में निचोड़ लें. इस पानी का कुल्ला करने से दांत दर्द में राहत मिलती है.
– इसके इलावा चायपत्ती के उबले हुए पानी से घी या तेल के डिब्बे साफ करने से उन डिब्बों की दुर्गंध भी जाती रहेगी और डिब्बे अच्छी तरह से साफ भी हो जाएंगे.
– किचन में या घर के जिस कोने में बहुत ज्यादा मक्खियां हों वहां पर बची हुई चायपत्ती को धोकर साफ कर लें फिर इसे उस जगह पर रगड़ दें.
– बची चायपत्ती का इस्तेमाल बालों में चमक और दमक लाने के लिए कर सकते हैं, ये बहुत फायदेमंद होती है. चायपत्ती का पानी एक तरह से प्राकृतिक कंडिशनर का काम करता है. चाय बनाने के बाद बची हुई पति को धो लें, फिर उसे दुबारा से गरम पानी में उबाल लें. इसे छान लें और पानी को ठंडा करने के बाद बालों को साफ करें.
– चायपत्ती का एक और फायदा यह है कि आप इसका इस्तेमाल लकड़ी के फर्नीचर को चमकदार बनाने के लिए इस्तेमाल कर सकते हैं. चाय बची हुई चायपत्ती को दोबारा से गरम पानी मे उबाल ले फिर उसे ठंडा कर इसे एक स्प्रे बॉटल में भरकर फर्नीचर की सफाई करें. इससे फर्नीचर चमक उठेंगे.
– चायपत्ती का इस्तेमाल खाद के रूप में किया जाता है. गमले में पौधों को समय-समय पर खाद की जरूरत होती है. ऐसे में आप बची हुई चायपत्ती को साफ कर लें और गमले में डाल दें. इससे पौधे स्वस्थ रहेंगे.
– चायपत्ती में एंटी-ऑक्सीडेंट पाए जाते हैं. चोट या किसी जख्म पर चायपत्ती का लेप लगाने से खून बहना बंद हो जाता है. उबली हुई चायपत्ती को अच्छी तरह धो लें और इसे पीसकर चोट पर लगाने से घाव जल्दी भर जाएगा.
– बची चाय की पत्ती में थोड़ा-सा विम पाउडर मिलाकर क्राकरी साफ करें. उसमें चमक आ जाएगी.