इंदौर : फिर से संवरा रतनतलाई तालाब, प्राकृतिक पर्यटन के साथ भूमिगत जलस्तर भी बढ़ेगा

जल संरक्षण और पर्यावरणीय पुनरुद्धार की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल के तहत जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट आज सांवेर विधानसभा क्षेत्र के रतनतलाई तालाब के जीर्णोद्धार कार्य का लोकार्पण करेंगे। यह कार्य मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव द्वारा लिए संकल्प को उनके नेतृत्व में प्रदेश में चल रहे जल गंगा संवर्धन अभियान के अंतर्गत किया गया है, जिससे न केवल जल संसाधन संरक्षित होंगे बल्कि स्थानीय पर्यटन और हरियाली को भी बढ़ावा मिलेगा।

40 लाख रुपए में फिर से संवारा
रतनतलाई तालाब का निर्माण वर्ष 1972 में जल संसाधन विभाग द्वारा किया गया था। वर्षों से अनुपयोगी हो चुके इस तालाब की कुल जलग्रहण क्षमता 0.24 मि.घ.मी. और सिंचाई क्षमता 40 हेक्टेयर है। इस महत्वपूर्ण जल स्रोत को पुनर्जीवित करने हेतु वर्ष-2023 में 40.30 लाख रुपए की लागत से मरम्मत कार्य प्रारंभ किए गए। इन कार्यों में तालाब की पाल पर मिट्टी भराव, स्लूस एवं वेस्ट वियर का निर्माण, लगभग 400 मीटर लंबाई में पिचिंग कार्य शामिल है।

प्राकृतिक पर्यटन भी बढ़ेगा
स्थानीय नागरिकों की मांग पर वर्ष-2024 में जल गंगा संवर्धन अभियान के अंतर्गत 71.57 लाख रुपए की अतिरिक्त राशि स्वीकृत की गई। इस राशि से 1100 मीटर लंबाई में अपस्ट्रीम साइड पिचिंग, एक हजार मीटर में पेवर ब्लॉक बिछाना, तालाब की पाल पर वृक्षारोपण, स्थाई सीमेंट-कांक्रीट की सीढ़ियां जैसे कार्य किए गए हैं, जो इसे एक सुंदर एवं आकर्षक स्थल में परिवर्तित कर रहे हैं। यह कार्य न केवल जल संरक्षण को बल देगा बल्कि सांवेर क्षेत्र के नागरिकों को एक प्राकृतिक पर्यटन स्थल का भी लाभ मिलेगा।

सांवेर के लिए यह एक नई शुरुआत
मंत्री सिलावट ने बताया कि जल गंगा संवर्धन अभियान का उद्देश्य परंपरागत जल स्रोतों का पुनरुद्धार कर जल संकट से निपटना है। रतनतलाई तालाब के कायाकल्प से क्षेत्र की सिंचाई सुविधा बढ़ेगी, भूजल स्तर सुधरेगा और पर्यावरण संतुलन भी सुदृढ़ होगा। यह लोकार्पण सांवेर क्षेत्र के लिए एक नई शुरुआत का प्रतीक है, जो जल संरक्षण की दिशा में सामूहिक प्रयासों का उत्कृष्ट उदाहरण है।

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