शेर की देखभाल करता था, जैसे ही उतरा नीचे चारों ने बोल दिया धावा

अचानक रंगखरासी जीप से नीचे उतर गए। शायद उन्होंने सोचा होगा कि शेर उन्हें पहचानते हैं क्योंकि वो कई वर्षों से उनकी देखभाल करते आ रहे थे। मगर यही गलती उनकी जान पर भारी पड़ गई।

थाईलैंड के बैंकॉक में स्थित सफारी वर्ल्ड से हाल ही में एक बेहद खौफनाक और चौंकाने वाली घटना सामने आई है। यहां 58 साल के जियांग रंगखरासी, जो पिछले 30 वर्षों से शेरों के साथ काम कर रहे थे। खुद उन्हीं शेरों का शिकार बन गए। इस घटना को अपनी आंखों से देखने वाले पर्यटक आज भी सदमे में हैं। तो आज की इस खबर में हम आपको इसी घटना के बारे में विस्तार से बताने जा रहे हैं। आइए जानते हैं।

सोशल मीडिया पर वायरल हुई यह घटना
बुधवार सुबह करीब 11 बजे यह हादसा हुआ। सफारी के दौरान रंगखरासी पर्यटकों के साथ जीप में बैठे थे। सफारी वर्ल्ड के इस हिस्से में करीब 32 शेर रहते हैं और नियम के मुताबिक यहां किसी को भी गाड़ी से उतरने की अनुमति नहीं होती। लेकिन अचानक रंगखरासी जीप से नीचे उतर गए। शायद उन्होंने सोचा होगा कि शेर उन्हें पहचानते हैं क्योंकि वो कई वर्षों से उनकी देखभाल करते आ रहे थे। मगर यही गलती उनकी जान पर भारी पड़ गई।

चार शेरों ने आदमी को बनाया शिकार
जैसे ही वो नीचे उतरे, शेरों की नजर उन पर पड़ गई। एक शेर दबे पांव पीछे से आया और रंगखरासी पर झपट पड़ा। वो जमीन पर गिर पड़े और इसी दौरान तीन से चार और शेर वहां आ गए। फिर शुरू हुआ वो खौफनाक मंजर, जिसने सबको दहला दिया। करीब 15 मिनट तक शेरों का झुंड उन्हें नोचता और काटता रहा। जीप में बैठे पर्यटक लगातार चीखते-चिल्लाते रहे। उन्होंने हॉर्न भी बजाया ताकि शेर डर जाएं और दूर चले जाएं। लेकिन शेरों पर इस शोर का कोई असर नहीं हुआ। किसी की हिम्मत नहीं हुई कि गाड़ी से उतरकर रंगखरासी को बचाने की कोशिश करे। असल में किसी को पता भी नहीं था कि ऐसी स्थिति में क्या किया जाए। नतीजा यह हुआ कि शेरों के सामने सब बेबस हो गए और अपनी आंखों के सामने एक इंसान को मौत के मुंह में जाते देखना पड़ा।

शेरों को संभालने में महारत थी हासिल
जब तक बचाव दल मौके पर पहुंचा, तब तक बहुत देर हो चुकी थी। शेर रंगखरासी को बुरी तरह नोच चुके थे और उनकी मौत हो गई थी। यह सब कुछ इतनी तेजी और बेरहमी से हुआ कि वहां मौजूद हर शख्स सहम गया। रंगखरासी का पूरा जीवन शेरों की देखभाल में बीता था। वो तीन दशक से ज्यादा समय से सफारी वर्ल्ड में काम कर रहे थे। लोग मानते थे कि उन्हें शेरों को संभालने में महारत हासिल है। शायद इसी अनुभव पर भरोसा करते हुए उन्होंने नियमों को नजरअंदाज किया और गाड़ी से उतर गए। लेकिन जंगली जानवर आखिरकार जंगली ही रहते हैं, चाहे इंसान उनसे कितनी भी नजदीकी क्यों न बना ले।

नियमों का किया उल्लंघन
जानकारों का कहना है कि यह हादसा एक बड़ी गलती का नतीजा है। सफारी के सख्त नियम होते हैं कि सफर के दौरान कोई भी व्यक्ति गाड़ी से बाहर न निकले और खिड़कियां भी बंद रखी जाएं। यह सब पर्यटकों और कर्मचारियों की सुरक्षा के लिए ही तय किया गया है। रंगखरासी ने इन नियमों का पालन नहीं किया और इसकी कीमत उन्हें अपनी जान देकर चुकानी पड़ी।

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