मैगी खाने से एक ही परिवार के 9 बच्‍चे हुए बीमार, चारों तरफ मचा हडकंप

मैगी हर किसी को पसंद होती है चाहे बच्चें हो या बड़े, सभी बड़े चाव से इसे खाते हैं। लेकिन मध्य प्रदेश में यही मैगी एक परिवार के नौ बच्चों की जान के लिए आफत बन गई। प्रदेश के छतरपुर जिले में एक ही परिवार के बच्चों की मैगी खाने से हालत बिगड़ गई, जिसके बाद उन्हें गांव के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया। तबीयत ज्यादा खराब होने पर उन्हें ग्वालियर के मेडिकल कॉलेज में रेफर कर दिया गया है।मैगी खाने से एक ही परिवार के 9 बच्‍चे हुए बीमार, चारों तरफ मचा हडकंप

घटना छतरपुर जिले की नौगांव तहसील के गांव बंछोरा निवासी एक परिवार की है। शनिवार की रात बच्चों ने मैगी खाई जिसके बाद उनकी तबियत बिगड़ गई। गंभीर हालत में उन्हें नौगांव सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया गया। 

मैगी की गुणवत्ता पर उठ चुके हैं सवाल

मैगी नूडल्स की गुणवत्ता को लेकर पहले भी देशभर में कई सवाल उठ थे। कई राज्यों से नेस्ले के इस बहुचर्चित ब्रांड के सैंपल इकठ्ठा किए गए थे। यूपी से लिए गए नमूनों में मैगी में तय मात्रा से 17 गुना ज्यादा लेड यानी सीसा पाया गया। पैकेट में जिक्र न होने के बावजूद भी मैगी के मसाले में मोनो सोडियम ग्लूटामेट पाए जाने का आरोप था।

कितनी खरतरनाक हो सकती है मैगी

मैगी में सीसा और सोडियम ग्लूटामेट पाया जाता है। जानकार कहते हैं कि खून में सीसे की अधिक मात्रा में जमा होने से कैंसर, दिमागी बीमारी, मिर्गी या फिर किडनी खराब हो सकती है। कुछ मामलों में इससे मौत भी हो सकती है। लेड बच्चों के दिमागी विकास पर स्थायी असर डाल सकता है। शरीर में कई मेटल होते हैं, जो खून के प्रवाह के ज़रिये शरीर के किसी भी हिस्से में जा सकते हैं। सीसे के ज्यादा मात्रा में इकठ्ठा होने से सिरदर्द, तनाव या फिर यादाश्त कमज़ोर हो सकती है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button