पाकिस्तान ने फिर दिखा दी बेवकूफी! बस के निचले हिस्से में बनाया बिजनेस क्लास, देखते ही लोगों ने ठोंका माथा

पाकिस्तान की सड़कों पर चलने वाली बसों ने एक बार फिर दुनिया का ध्यान खींचा है. लेकिन इस बार वजह कोई लक्जरी सुविधा नहीं, बल्कि एक अजीबो-गरीब जुगाड़ है. हाल ही में सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हुआ, जिसमें दिखाया गया कि पाकिस्तानी बसों में लगेज सेक्शन को हटाकर उसे बिजनेस क्लास केबिन में बदल दिया गया है.
इन केबिन्स में टीवी, आरामदायक सीटें और अन्य सुविधाएं दी गई हैं लेकिन इस अनोखे आइडिया को देखकर लोग हंस-हंसकर लोटपोट हो रहे हैं. कई यूजर्स ने इसे “सबसे बेकार आइडिया” करार दिया और सुरक्षा को लेकर गंभीर सवाल उठाए हैं. यह वीडियो इंस्टाग्राम पर शेयर किया गया, जिसमें दिखाया गया कि बस के निचले हिस्से में, जहां सामान्यतः सामान रखने का लगेज कम्पार्टमेंट होता है, उसे बिजनेस क्लास केबिन में बदल दिया गया है. इन केबिन्स में 2-बाय-1 सीटिंग व्यवस्था, टीवी स्क्रीन और कुछ मामलों में मसाजर सीटें भी मौजूद हैं. यात्रियों को तंग जगह में बैठकर “लक्जरी” का अनुभव करने का दावा किया गया है.
लोगों की छूटी हंसी
वीडियो में दिख रहे यात्री इस अनोखे अनुभव को हंसते-हंसते स्वीकार करते दिखे, लेकिन सोशल मीडिया पर इसे लेकर तीखी प्रतिक्रियाएं आईं. सोशल मीडिया पर कई यूजर्स ने इस जुगाड़ का मजाक उड़ाया. एक यूजर ने लिखा, “मुस्कुराइए, आप पाकिस्तान में हैं!” एक अन्य यूजर ने टिप्पणी की, “यह है असली बिजनेस क्लास, जहां जुगाड़ ही सब कुछ है!” लेकिन मजाक के साथ-साथ कई लोगों ने इसकी सुरक्षा पर सवाल उठाए. एक यूजर ने लिखा, “अगर बस का एक्सीडेंट हो जाए, तो इस तंग जगह में फंसे यात्रियों की जान बचाना मुश्किल होगा.”
बेहद खतरनाक है ये जुगाड़
यह चिंता जायज भी है क्योंकि लगेज कम्पार्टमेंट को यात्रियों के लिए इस्तेमाल करने से बस की संरचना कमजोर हो सकती है और हादसे की स्थिति में यह जानलेवा साबित हो सकता है. विशेषज्ञों का कहना है कि इस तरह की बसें, जैसे कि अल मुनिर सुपर इंटरनेशनल लिमोजिन प्लस, जो यूटोंग की C13 PRO कोच का संशोधित रूप हैं, जुगाड़ के दम पर बनाई गई हैं. ये बसें क्वेटा और कराची जैसे प्रमुख शहरों के बीच चलती हैं और यात्रियों को सस्ते दाम में “लक्जरी” का अनुभव देने का दावा करती हैं. लेकिन वास्तव में, लगेज कम्पार्टमेंट को केबिन में बदलना ना केवल असुविधाजनक है, बल्कि सुरक्षा मानकों का उल्लंघन भी हो सकता है. बसों में सामान रखने की जगह पहले से ही सीमित होती है और इसे हटाने से यात्रियों को अपना सामान रखने में दिक्कत होती है.