सावधान! इस बार नवरात्र में डोली चढ़कर आएंगी माँ शेरावाली

नई दिल्ली। 21 सितंबर दिन गुरूवार से शारदीय नवरात्रि 2017 का शुभारंभ होने जा रहा है। नौ दिनों तक चलने वाली इस पूजा में देवी दुर्गा के नौ स्वरूपों आराधना की जाती है।
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नवरात्र गुरूवार के दिन से शुरू हो रहे हैं इसलिए इस बार मां शेरावाली ‘डोली’ पर सवार होकर भक्तों से मिलने आ रही हैं। ऐसा माना जाता है कि घटस्थापना के दिन के मुताबिक मां की सवारियां बदल जाती हैं इसलिए हर साल माता का वाहन अलग-अलग होता है। इस बार माता का आगमन डोली पर हो रहा है। इसका फलाफल अच्छा नहीं माना जा रहा है।
मान्यता के मुताबिक मां की सवारी दिन के हिसाब से निम्नलिखित होती है.. सोमवार को मां की सवारी: हाथी। मंगलवार को मां की सवारी: अश्व यानी घोड़ा। बुधवार को मां की सवारी: नाव। गुरूवार को मां की सवारी: डोली। शुक्रवार को मां की सवारी: डोली। शनिवार को मां की सवारी: अश्व यानी घोड़ा। रविवार को मां की सवारी: हाथी।
नौ दिनों में भगवती के अलग-अलग रूपों की पूजा की जाती है. पहला दिन शैलपुत्री देवी :- शैलपुत्री भगवती पार्वती को कहा जाती है। शैलपुत्री की पूजा-अर्चना करने से सुयोग्य वर की प्राप्ति व तपस्वी बनने की प्रेरणा मिलती है। दूसरा दिन ब्रम्हचारिणी देवी :- माता की अराधना करने से दीर्घ आयु की प्राप्ति होती है। तीसरा दिन चंद्रघंटा देवी :- भगवती चंद्रमा को सिर पर धारण करती है। माता की अराधना करने से माता व भगवान शिव प्रसन्न होते है।
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उत्पादन में काफी वृद्धि चौथा दिन कुषमांडा देवी :- कुषमांडा देवी की पूजा करने से धन-धान्य और फसलों के उत्पादन में काफी वृद्धि होती है। पांचवा दिन स्कंदमाता :- भगवती की अराधना से पुत्र की प्राप्ति होती है साथ ही वे दीर्घायु होते है।
भगवती महालक्ष्मी का रुप छठा दिन कात्यायनि देवी :- भगवती महालक्ष्मी का रुप है। अराधना करने से धन धान्य और सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है। सातवां दिन कालरात्रि देवी :- भगवती की अराधना करने से संकट से मुक्ति मिलती है साथ ही इस दिन निशा पूजा भी की जाती है।
सभी प्रकार के मनवांक्षित फलों की प्राप्ति आठवां दिन महागौरी देवी :- भगवती की पूजा करने से दांपत्य जीवन सुखमय होता है। नौवां दिन सिद्धिरात्रि देवी :- सभी प्रकार के मनवांक्षित फलों की प्राप्ति होती है। साथ ही भक्तों को सिद्धि की प्राप्ति भी होती है।