जानें क्यों नीतीश कुमार को लग रहा है राजनीतिक हत्या का डर

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार द्वारा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नोटबंदी के फैसले का समर्थन करने के बाद इस बात की चर्चा जोरों पर है कि नीतीश कुमार एकबार फिर एनडीए में शामिल हो सकते हैं.
आपको बता दें कि नोटबंदी पर नीतीश कुमार के समर्थन के बाद यह भी कहा जा रहा था कि रविवार को नीतीश कुमार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पार्टी अध्यक्ष अमित शाह से फोन पर बात की और नोटबंदी के मुद्दे पर अपना समर्थन व्यक्त किया.
चर्चा इस बात की भी रही कि नीतीश कुमार ने अपने पिछले दिल्ली दौरे के दौरान भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह से गुड़गांव के एक फार्म हाउस से मुलाकात की.
जबकि नीतीश कुमार ने दो दिन पहले ही इस तरह की किसी भी मुलाकात को सिरे से ख़ारिज कर दिया था.
इन्ही सब ख़बरों से नाराज नीतीश कुमार ने सोमवार शाम को आयोजित जनता दल यूनाइटेड के विधानमंडल दल की बैठक में कहा कि कुछ लोग उनकी राजनीतिक हत्या करने की कोशिश कर रहे हैं.
नीतीश कुमार ने अपने विरोधियों पर तंज कसते हुए कहा कि कुछ लोग हैं जिन्होंने मुझे पिछले दिनों अमित शाह से मिलवा दिया और दो दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से बात भी करवा दी. ऐसे लोग मेरी राजनीतिक हत्या करने की कोशिश कर रहे हैं.
नीतीश कुमार ने दो टूक शब्दों में कहा कि सर्जिकल स्ट्राइक और नोटबंदी के मुद्दे पर समर्थन करने का मतलब कोई राजनीतिक समीकरण में फेरबदल नहीं है.