उत्तराखंड: जंगल और शहर दोनों कूड़े के ढेर में तब्दील, अधिकारी गहरी नींद में

हल्द्वानी नगर निगम के सीमा क्षेत्र से लेकर जंगल तक कूड़े से पटते जा रहे हैं। पर्यावरण के लिहाज से न जिला पंचायत और न ही वन विभाग की ओर से ठोस कदम उठाया जा रहा है। नगर निगम के 60 वार्डाें में वाहनों से कूड़ा उठाया जाता है। जिला पंचायत क्षेत्र में भी ऐसी व्यवस्था है लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को खुले में कूड़ा फेंक गंदगी फैला रहे हैं।

निगम की सीमा से सटे जिला पंचायत क्षेत्र के कमलुवागांजा, गोविंदपुर गरवाल के साथ ही रामपुर रोड पर पंचायतघर गोरापड़ाव बाईपास रोड पर कूड़ा-कचरा डाला जा रहा है। इससे गंदगी का ढेर लगना शुरू हो गया है। तराई पूर्वी वन प्रभाग के हल्द्वानी रेंज के जंगल से लगी इस सड़क पर कूड़ा डालने वालों पर वन विभाग भी अंकुश नहीं लगा पा रहा है। कार से आते हैं कूड़ा फेंकने : स्थानीय सुरेश कोठारी ने बताया कि गोविंदपुर गरवाल मार्ग वैसे ही संकरा है। रोजाना आवाजाही करने वाले लोग यहां कूड़ा फेंक रहे हैं।

ग्रामीण क्षेत्रों में मेटेरियल रिकवरी फैसिलिटी के तहत गांवों में कूड़ा निस्तारण की व्यवस्था है। जिले में अभी सात वाहनों से कूड़ा उठाया जा रहा है। हल्द्वानी में निगम क्षेत्र सीमा से लगे क्षेत्रों में अभियान चलाकर कूड़ा उठाया जाएगा।
-महेश कुमार विश्नोई, अपर मुख्य अधिकारी, जिला पंचायत

जंगल के पास कूड़ा डालने से विभाग परेशान है। सीमित स्टॉफ के बावजूद अभियान चलाया गया लेकिन कोई पकड़ में नहीं आया। इस संबंध में जिला पंचायत को पत्र लिखकर कूड़ा निस्तारण का आग्रह किया गया है।
-ललित जोशी, रेंजर, हल्द्वानी रेंज

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