रेलवे भर्ती परीक्षा में जिस जगह पर नहीं है रेलवे स्टेशन, वहां तक का दिया गया है पास

बक्सर। रेलवे में लोको पायलट की परीक्षा देने जा रहे परीक्षार्थियों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। दरअसल, रेलवे द्वारा देश स्तर पर असिस्टेंट लोको पायलट की परीक्षा देश के विभिन्न शहरों में ली जा रही है। जिसके लिए परीक्षार्थियों को लंबी दूरी की यात्रा रेल से तय करनी पड़ रही है।रेलवे भर्ती परीक्षा में जिस जगह पर नहीं है रेलवे स्टेशन, वहां तक का दिया गया है पास

हालांकि, रेलवे ने अनुसूचित जाति एवं जनजाति के छात्रों को विशेष रियायत देते हुए यात्रा के लिए पास उपलब्ध कराया है। इसके तहत परीक्षार्थी परीक्षा स्थल तक का आरक्षण अपने शहर से करा सकते हैं। लेकिन, रेलवे के नियमों के पेंच में फंसकर ऐसे छात्र मुफ्त यात्रा करने से वंचित हो जा रहे हैं।

जिस जगह पर नहीं है रेलवे स्टेशन, वहां तक का दिया गया है पास

रेलवे द्वारा उस जगह का पास बनाया गया है। जहां पर परीक्षा केंद्र है। लेकिन, रेलवे ने इस बात का ख्याल नहीं रखा कि सेंटर वाले स्थानों पर रेलवे स्टेशन है अथवा नहीं। उजियार के परीक्षार्थी धीरज कुमार, पिता गुप्तेश्वर ङ्क्षसह ने बताया कि लोको पायलट की परीक्षा देने के लिए उनका सेंटर नोएडा बनाया गया है। जबकि, नोएडा रेलवे स्टेशन नहीं है।

ऐसे में रेलवे कर्मियों द्वारा उन्हें रिजर्वेशन नहीं दिया जा रहा। उनका कहना है कि वहां पर रेलवे स्टेशन की नहीं है तो रिजर्वेशन कैसे मिलेगा। ऐसे में उनके सामने यहीं विकल्प है कि वे अपने पैसे लगाकर रिजर्वेशन कराएं। ऐसे में रेलवे द्वारा पास दिए जाने का क्या औचित्य है। 

निवास स्थान से दूर बनाए गए परीक्षा केंद्र

दरअसल रेलवे द्वारा लोको पायलट की परीक्षा के परीक्षा केंद्र परीक्षार्थी के मूल निवास से काफी दूर बनाए गए हैं मतलब बक्सर के छात्र को लखनऊ जैसी जगहों पर भेजा जा रहा है। वहीं, सीमावर्ती उत्तर प्रदेश के उजियार के छात्र को नोएडा। परीक्षार्थियों का कहना है कि जब ऑनलाइन परीक्षा होनी है तो फिर इतना दूर सेंटर बनाया जाने का क्या औचित्य है। परीक्षा नजदीक के शहरों में थी हो सकती है। लंबी दूरी की यात्रा करने में उनके कई दिन नाहक ही बर्बाद हो जा रहे हैं।

ले सकते हैं नजदीकी रेलवे स्टेशन का आरक्षण, बाकी की यात्रा होगी सशुल्क

मामले में बुकिंग सुपरवाइजर नईम अहमद से बातचीत करने पर उन्होंने बताया कि ऐसे परीक्षार्थी जिनके परीक्षा केंद्र के शहरों में रेलवे स्टेशन नहीं है वह पहले आने वाले रेलवे स्टेशन का आरक्षण करा सकते हैं। उसके बाद की यात्रा के लिए उन्हें भुगतान देना होगा।

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