मोटर साइकिल और रुपयों का लालच देकर मतांतरण कराने वाले फादर को जमानत देने से कोर्ट ने किया इंकार

मोटर साइकिल और रुपयों का लालच देकर मतांतरण कराने वाले फादर को जमानत देने से कोर्ट ने इंकार कर दिया। मामला झाबुआ जिले का है । ग्राम पाडलवा 70 वर्षीय मोगा पुत्र हुकमा वसुनिया ने थाना रानापुर में मतांतरण को लेकर शिकायत दर्ज करवाई थी।

बुजर्ग का कहना था कि ग्राम पाडलवा के चर्च का फादर रमेश वसुनिया और उसकी पत्नी कमतू हर रविवार इसाई मतांतरण के लिए पाडलवा में बने चर्च में साप्ताहिक सामूहिक सभा आयोजित करते हैं। पांच दिसंबर 21 को करीब 12.30 बजे फादर रमेश पुत्र मगन वसुनिया, रमा पत्नी दीवान डामोर, कमतू पत्नी रमेश वसुनिया, सामू पत्नी झितरा, श्यामा पत्नी आदिया वसुनिया और अदिया वसुनिया ने शिकायतकर्ता मोगा और अन्य को चर्च में बुलाया। उपरोक्त लोगों ने हम पर पानी का छिड़काव किया। फादर रमेश ने कहा कि आप को हर महीने एक हजार रुपये और एक मोटर साइकिल मिलेगी। परिवार का इलाज भी मुफ्त किया जाएगा। तुम क्रिश्चन बन जाओ।

थाना रानापुर पुलिस ने मामले में मप्र धार्मिक स्वतंत्रता अधिनियम 2021 की धारा 3, 5 और 10(2) के तहत आरोपितों के खिलाफ प्रकरण दर्ज किया। छह दिसंबर को आरोपितों को गिरफ्तार कर लिया गया। आरोपितों की जमानत पर आपत्ति लेते हुए शिकायतकर्ता के वकील राजेश जोशी ने कोर्ट को बताया कि आरोपितों ने बुजुर्ग हिंदू ग्रामीणों को एक हजार रुपये प्रतिमाह और मोटर साइकल और मुफ्त इलाज का लालच देकर मतांतरण का दबाव बनाया है। तर्कों को सुनने के बाद न्यायमूर्ति राजेंद्र कुमार वर्मा ने मुख्य आरोपित फादर रमेश वसुनिया की जमानत याचिका निरस्त कर दी।

Back to top button