सुप्रीम कोर्ट ने मनोज तिवारी को लगाई फटकार, कहा- सांसद होने का अर्थ कुछ भी करने की छूट नहीं

सुप्रीम कोर्ट ने सीलिंग तोड़ने को लेकर मंगलवार को भाजपा सांसद मनोज तिवारी को कड़ी फटकार लगाई। शीर्ष अदालत ने कहा कि सांसद होने का यह मतलब नहीं है कि आपको सब कुछ करने का लाइसेंस मिल जाता है। सुप्रीम कोर्ट ने सांसद को अवमानना नोटिस जारी करते हुए अदालत में तलब किया था। 

न्यायमूर्ति मदन बी लोकुर की अध्यक्षता वाली तीन सदस्यीय पीठ ने मनोज तिवारी से कहा कि यदि सीलिंग पर आपको कोई शिकायत थी तो हमारे पास आते। आपको कानून अपने हाथ में नहीं लेना चाहिए था। दरअसल मनोज तिवारी पर पूर्वी दिल्ली के गोकलपुरी इलाके में कथित एक डेयरी की सील तोड़ने का आरोप है।

तिवारी के वकील विकास सिंह ने कहा कि कथित डेयरी 20 गज पर बनी है, इतनी कम जगह में डेयरी चलाने का सवाल ही नहीं उठाता। उन्होंने कहा कि निगरानी समिति अपनी पब्लिसिटी कर रही है। गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर निगरानी समिति की देखरेख में दिल्ली में सीलिंग व अवैध निर्माण पर कार्रवाई की जा रही है।

पीठ ने मनोज तिवारी को तीन दिनों के भीतर हलफनामा दाखिल अपना पक्ष रखने को कहा है। पीठ ने वकील विकास सिंह को सीलिंग तोड़ने वाले वीडियो और मनोज तिवारी के टीवी इंटरव्यू को देखने के बाद हलफनामा देने को कहा है। अगली सुनवाई 3 अक्टूबर को सांसद को कोर्ट में पेश होने का निर्देश दिया है।

कोर्ट रूम लाइव

मनोज तिवारी के वकील विकास सिंह : शीर्ष अदालत की कार्रवाई का दुरुपयोग हो रहा है। डेयरी की सीलिंग गैरकानूनी थी।
सुप्रीम कोर्ट: यदि आपको सीलिंग को लेकर परेशानी थी, तो हमारे पास आना चाहिए था। न कि कानून अपने हाथ में लेना चाहिए था।
वकील: उस संपत्ति की सीलिंग का सुप्रीम कोर्ट के आदेश से कोई वास्ता नहीं है।
कोर्ट: मनोज तिवारी द्वारा टीवी इंटरव्यू में यह कहा जाना कि उस इलाके में और 1000 अवैध संपत्तियां हैं, जिन्हें सील नहीं किया गया। आप मुझे कल तक उन संपत्तियों की सूची दें। फिर हम आपको उन संपत्तियों को सील करने के लिए कहेंगे। आपको सीलिंग ऑफिसर बना देंगे।
वकील: मनोज तिवारी सांसद हैं।
कोर्ट: तो क्या हुआ? आप सांसद हैं इसका यह मतलब नहीं है कि आपको सब कुछ करने का लाइसेंस मिल गया।
वकील: मॉनिटरिंग कमेटी शीर्ष अदालत की आड़ में पब्लिसिटी चाह रही है।
कोर्ट: मिस्टर सिंह, मनोज तिवारी यहां हैं, आप क्षुब्ध न हों। आप हलफनामा दायर कर यह सब बताइए।
Back to top button