BSP के मुख्य नेता पर गिरी गाज, PM मोदी को ‘गब्बर सिंह’ कहने पर किया पार्टी से बाहर

लखनऊ। बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती को पार्टी के कार्यकर्ता तथा जिम्मेदार पदाधिकारियों की अनुशासनहीनता जरा भी बर्दाश्त नहीं है। पार्टी के नेशनल कोआर्डीनेटर तथा राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जयप्रकाश सिंह को पहले सभी पदों से हटाने वाली बसपा सुप्रीमो ने कल उनको पार्टी से ही बाहर कर दिया।BSP के मुख्य नेता पर गिरी गाज, PM मोदी को 'गब्बर सिंह' कहने पर किया पार्टी से बाहर

पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जयप्रकाश सिंह ने लखनऊ में पार्टी कार्यकर्ता सम्मेलन में कांग्रेस अध्यक्ष के साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर अनर्गल टिप्पणी की थी। मायावती ने अपनी पार्टी के सभी नेता और कार्यकर्ताओं को किसी भी दल के नेता अथवा व्यक्ति के खिलाफ और पार्टी की रणनीति के बारे में इस तरह की अनधिकृत बयानबाजी करने बचने की सख्त हिदायत दी। जयप्रकाश सिंह पर पार्टी काडर की उपेक्षा करने का भी आरोप लगा था।

बसपा प्रमुख मायावती ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के विदेशी मूल के खिलाफ बयानबाजी करने वाले पार्टी के उपाध्यक्ष जयप्रकाश सिंह को कल पार्टी से निकाल दिया। मायावती ने जयप्रकाश सिंह को तीन दिन पहले राहुल गांधी तथा पीएम मोदी के खिलाफ बयान देने के अनुशासनहीनता के आरोप में पार्टी के सभी पदों से हटा दिया था।

बसपा प्रमुख ने कहा कि शालीनता व अनुशासन पार्टी की प्रतिष्ठा व सफलता की कुंजी है। हमारी पार्टी में व्यक्तिगत लांछन, छींटाकशी व विद्वेष का कोई स्थान नहीं है। इसमें किसी तरह की कोताही को कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने जय प्रकाश सिंह का जिक्र करते हुए कहा कि दूसरे दलों के शीर्ष नेताओं (नरेंद्र मोदी व राहुल गांधी) को अपशब्द कहने पर उसे पहले जहां राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व जोनल कोआर्डिनेटर के पद से हटाया गया था वहीं कल पार्टी से भी निकाल दिया गया है। उल्लेखनीय है कि राजधानी लखनऊ में पिछले दिनों पार्टी कार्यकर्ताओं के कार्यक्रम में जय प्रकाश ने मोदी को गब्बर सिंह और राहुल गांधी पर व्यक्तिगत आक्षेप व अनर्गल बयानबाजी की थी। सूत्रों के मुताबिक, बसपा प्रमुख ने रामजी गौतम को अब राष्ट्रीय उपाध्यक्ष बनाया है। नेशनल कोआर्डिनेटर के पद को तो बनाए रखा गया है लेकिन उस पद की जिम्मेदारी फिलहाल किसी को नहीं दी है। 

पार्टी प्रमुख की अध्यक्षता में बसपा नेताओं की बैठक में कल जयप्रकाश सिंह को पार्टी से बाहर करने का फैसला किया गया। बैठक के बाद पार्टी की ओर जारी बयान के अनुसार सिंह की अनर्गल बयानबाजी को बसपा के सिद्धांतों के खिलाफ बताते हुए उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई के तहत यह फैसला किया गया। इसके साथ ही पार्टी प्रमुख ने सभी नेताओं और कार्यकर्ताओं को किसी भी दल के नेता अथवा व्यक्ति के खिलाफ और पार्टी की रणनीति के बारे में इस तरह की अनधिकृत बयानबाजी करने से बचने की सख्त हिदायत दी। बैठक में इस साल के अंत में तीन राज्यों राजस्थान, मध्य प्रदेश व छत्तीसगढ़ में प्रस्तावित विधानसभा चुनाव के लिए पार्टी की तैयारियों का भी जायजा लिया गया। बैठक में बसपा के तीनों राज्यों के पार्टी संयोजक और प्रदेश इकाइयों के नेता भी मौजूद थे। इस दौरान मायावती ने विधानसभा चुनाव के मद्देनजर संगठनात्मक ढांचे को मजबूत बनाने और चुनावी रणनीति पर विचार विमर्श किया।

मायावती ने कहा कि तीनों राज्यों में बसपा चुनाव लड़ेगी। बैठक में तय किया गया गया कि चुनाव में गठबंधन को लेकर अंतिम फैसला अन्य दलों के साथ बातचीत के बाद बसपा प्रमुख करेंगी। उन्होंने प्रदेश इकाइयों को ब्लॉक स्तर पर पार्टी का संगठनात्मक ढांचा मजबूत बनाने का निर्देश दिया। इसके साथ ही पार्टी के प्रदेश नेताओं को भविष्य में संभावित गठबंधन और चुनावी रणनीति से जुड़े किसी मुद्दे पर मीडिया में बयानबाजी करने से बचने की स्पष्ट हिदायत भी दी गई है। मध्य प्रदेश में बसपा व कांग्रेस मिलकर चुनाव लडऩे की संभावनाएं टटोल रहे हैं। इसके मद्देनजर मध्य प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमल नाथ के साथ बसपा नेतृत्व की रणनीतिक चर्चाओं का शुरुआती चरण पूरा हो चुका है। छत्तीसगढ़ में कांग्रेस से अलग होकर पार्टी बना चुके राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी के साथ भी हाल ही में मायावती की मुलाकात हो चुकी है। समझा जाता है बसपा प्रमुख ने कांग्रेस नेतृत्व से गठबंधन होने की स्थिति में तीनों राज्यों में मिलकर चुनाव लडऩे की शर्त रखी है।

गठबंधन पर सिर्फ मायावती बोलेंगी

मीटिंग में तय हुआ विपक्षी गठबंधन पर बात करने और इस पर बयान देने की जिम्मेदारी सिर्फ मायावती की होगी। पार्टी में इस मामले में हो रही बयानबाजी पर भी नारागजी जताई गई और साफ चेतावनी दी गई कि अगर कोई इस निर्देश का उल्लंघन करने का दोषी पाया जाएगा। उसके खिलाफ पार्टी कार्रवाई करेगी। पार्टी ने कहा कि जब भी गठबंधन की बात तय होगी उस बारे में सार्वजनिक जानकारी दी जाएगी। मायावती ने बयानबाजी में शालीनता बरतने का भी निर्देश दिया। 

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