चार साल में दिखा ईमानदार भारत, नियंत्रण में आयी महंगाई: रविशंकर प्रसाद

मुजफ्फरपुर। केंद्रीय सूचना एवं प्रौद्योगिकी और विधि मंत्री रविशंकर प्रसाद ने नरेंद्र मोदी सरकार की उपलब्धियां गिनाईं। शनिवार को पत्रकारों के साथ वार्ता में उन्होंने कहा कि चार वर्षों में भारत आशा के साथ विकास के रास्ते पर चल रहा है। प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में देश हित में साहसिक फैसले लिए गए हैं।चार साल में दिखा ईमानदार भारत, नियंत्रण में आयी महंगाई: रविशंकर प्रसाद

सर्जिकल स्ट्राइक से पाकिस्तानी आतंकवादियों व नोटबंदी से भ्रष्टाचारियों की कमर तोड़ी। चार वर्षों में ईमानदार भारत दिखा। सारे फैसले ईमानदारी व प्रमाणिकता से होते हैं। गरीबों को तकनीक के माध्यम से योजनाओं का लाभ दिया। विदेशों में भारत का मान-सम्मान बढ़ा है। मोदी आज ग्लोबल प्रमाणिक लीडर हो गए हैं। भारत की बात आज विश्व के देशों में सुनी जाती है।

पांच सौ व हजार के नोट जमा करने वालों को बताना होगा कहां से लाए पैसे

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि नोटबंदी के बाद 14 लाख करोड़ रुपये बैंकों में आए। ये पैसे सफेद नहीं हो गए। जिन्होंने पांच सौ व हजार के नोट जमा किए उन्हें बताना होगा कि पैसे कहां से लाए थे। उन्हें टैक्स देना होगा। तीन लाख छह हजार लोगों को दस-दस लाख रुपये जमा करना पड़ा। छह हजार छह सौ करोड़ रुपये जमा हुए। हवा में काम करने वाले तीन लाख कंपनियों का रजिस्ट्रेशन रद किया गया।

बिचौलियों को जाने वाले 90 हजार करोड़ तकनीकी से बचे

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने गरीबों 31 करोड़ से अधिक जन-धन योजनाओं को खोलकर उसे आधार से जोड़ा गया। योजनाओं की राशि अब सीधे उनके खाते में जमा होने से बिचौलियों को जाने वाले 90 हजार करोड़ रुपये की बचत हो गई। उन्होंने राजीव गांधी के उस बयान का भी जिक्र किया जिसमें उन्होंने कहा था कि सरकार एक रुपये भेजती है तो गरीबों को दस पैसे मिलते हैं। मगर, तकनीक का असर हुआ कि अब बिचौलिये गरीबों का पैसा नहीं खा पाते। गरीबों के लिए उज्ज्वला योजना का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि यह महिलाओं के लिए वरदान के समान है।

करोड़ों लोगों को रोजगार के साधन उपलब्ध कराए गए

रविशंकर प्रसाद ने कहा कि सरकार ने करोड़ों लोगों को रोजगार के साधन उपलब्ध कराए। प्रधानमंत्री मुद्रा योजना में 12 करोड़ 35 लाख लोगों को छह लाख करोड़ रुपये दिए गए। इससे करोड़ों लोगों को रोजगार मिले। वहीं देश के मोबाइल हब बनने से यहां 120 निर्माण कंपनियां आईं। जिसकी संख्या महज दो थी। इस क्षेत्र में भी रोजगार के अवसर बढ़े।

पेट्रोल की कीमत पर नियंत्रण के लिए दीर्घकालिक उपाय

पेट्रोल की बढ़ती कीमत को लेकर मंत्री ने कहा कि देश में जैविक ईंधन, सोलर व पवन ऊर्जा को बढ़ावा दिया जा रहा। इसके साथ ही पेट्रोलियम पदार्थों की कीमत को नियंत्रित करने के लिए दीर्घकालिक उपायों पर भी विचार किया जा रहा। उन्होंने कहा कि ऐसा नहीं है कि पिछले चार वर्षों में पेट्रोल की कीमत सिर्फ बढ़ी। इसकी कीमत काफी कम भी हुई थी।

बढते विकास के दिए ये आंकड़े

केंद्रीय मंत्री ने कांग्रेस शासनकाल की तुलना वर्तमान सरकार से की। उन्होंने कहा कि मनमोहन सरकार में प्रतिघंटे 12 किमी एनएच का निर्माण होता था। आज यह 27 किमी प्रतिघंटे हो रहा। ग्रामीण सड़कें 69 किमी प्रतिघंटे की तुलना में 134 किमी सड़कें बन रहीं। उन्होंने कहा कि आजादी के बाद से देश में 6.25 लाख शौचालय बने थे। मगर, पिछले चार वर्ष में 7.25 करोड़ शौचालय बने। 128 करोड़ के देश में 121 करोड़ लोगों के पास मोबाइल फोन है। देश में सबसे अधिक एफडीआइ आई। आज भारत सबसे तेज गति से बढऩे वाली आर्थिक ताकत बन गई है।

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