निचले स्तर पर पहुंच गया सोने का वायदा, 10 हजार रुपये हुआ सस्ता…

अगस्त के 56,200 रुपये के उच्च स्तर की तुलना में सोना काफी गिर चुका है। इसमें 18 फीसदी यानी लगभग 10,000 रुपये की गिरावट आई है। इसके साथ ही सोना वायदा अब आठ महीने के निचले स्तर पर पहुंच गया। आज एमसीएक्स पर सोना वायदा 0.12 फीसदी बढ़कर 46,297 रुपये प्रति 10 ग्राम रहा जबकि चांदी वायदा 0.4 फीसदी नीचे 68,989 रुपये प्रति किलोग्राम रहा। 

वैश्विक बाजारों में इतना रहा दाम
वैश्विक बाजारों में सोने की कीमत आज सपाट थी। हाजिर सोना 1,770.15 डॉलर प्रति औंस पर सपाट था और अब तक इस सप्ताह यह 0.6 फीसदी नीचे पहुंच गया है। अमेरिकी सोना वायदा 0.5 फीसदी गिरकर 1,767.10 डॉलर प्रति डॉलर पर आ गया। डॉलर सूचकांक आज 0.06 फीसदी ऊपर 90.188 पर था। अन्य कीमती धातुओं में चांदी 0.3 फीसदी बढ़कर 27.49 डॉलर प्रति औंस हो गई, जबकि पैलेडियम 2,400.43 डॉलर पर स्थिर था और प्लैटिनम 0.1 फीसदी बढ़कर 1,217.93 डॉलर हो गया।


पिछले साल 25 फीसदी बढ़ा सोना
कोरोना वायरस के प्रभाव को कम करने के लिए दुनिया भर के केंद्रीय बैंकों और सरकारों द्वारा राजकोषीय उपायों ने पिछले साल सोने की कीमतों में 25 फीसदी से अधिक की वृद्धि की थी, जबकि चांदी लगभग 50 फीसदी बढ़ गई थी। सोने को मुद्रास्फीति और मुद्रा में आई गिरावट के खिलाफ बचाव के रूप में देखा जाता है। भारत में सोना अपने अगस्त के उच्च स्तर यानी 56,200 रुपये प्रति 10 ग्राम से काफी नीचे है।

कीमत में उतार-चढ़ाव के प्रमुख कारण
अमेरिकी डॉलर में उतार-चढ़ाव, बढ़ते कोरोना वायरस के मामले और इससे संबंधित प्रतिबंध, प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं से मिश्रित आर्थिक डाटा, अतिरिक्त प्रोत्साहन उपायों और ब्रेक्सिट अनिश्चितता से सोने और चांदी की कीमत में उतार-चढ़ाव देखा जा रहा है। ईटीएफ का प्रवाह सोने में कमजोर निवेशक रुचि को दर्शाता है। बीते साल यानी 2020 में भारत की सोने की मांग 35.34 फीसदी घटकर 446.4 टन रह गई, जो 2019 में 690.4 टन थी

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