Adhik Maas 2020: अधिकमास में भी नहीं रुकते ये 4 शुभ कार्य, जानें इस माह में जन्में बच्चों का कैसा होता है भाज्ञ

लखनऊ। अधिकमास या मलमास में शुभ कार्य ना करने की सलाह दी जाती है. इस बार अधिक मास 18 सितंबर से 16 अक्टूबर तक रहेगा। ज्योतिषाचार्य भूषण कौशल कहते हैं कि अधिकमास को भगवान विष्णु के नाम पुरुषोत्तम मास के नाम से भी जाना जाता है। इसलिए इस अवधि में कुछ विशेष शुभ कार्यों से परहेज करने की जरूरत नहीं है। अधिकमास में भी कई शुभ कार्य किए जा सकते हैं।

1. यदि किसी दुर्घटना से बचने के लिए आप महामृत्युंजय जाप या हवन करवाना चाहते हैं, तो निसंदेह करवाइए। मलमास में आप घर में पूजा-पाठ या हवन निसंकोच करवा सकते हैं।

2. बच्चों का जन्मदिवस या सालगिरह पर घर में पूजा-पाठ रख सकते हैं। दोस्तों और रिश्तेदारों के साथ ऐसे पलों को सेलिब्रेट करने की कोई मनाही नहीं है।

3. शादी के बाद संतान प्राप्ति के लिए गोद भराई की रस्म को लेकर भी किसी तरह की रोक नहीं लगनी चाहिए। अधिकमास में आप ये काम भी पूरे विधि-विधान के साथ संपन्न कर सकते हैं।

4. मलमास में पैदा हुए बच्चे भी बड़े भाग्यवान होंगे। छह ग्रह उच्च के चल रहे हैं। ऐसे दौर में पैदा हुए बच्चे किसी अवतार से कम नहीं होते हैं। इनके पैदा होने से मां-बाप का भी भाग्योदय होगा।

5. हालांकि मलमास में कोई भी शुभ कार्य करने से पहले भगवान विष्णु की पूजा जरूर कर लें, साथ ही ‘ओम नमो: भगवते वासुदेवाय नम:’ के चमत्कारी मंत्र का जाप करना ना भूलें, लक्ष्मी नारायण मंदिर में जाकर भगवान को भोग लगाएं।

6. इसके विवाह, मुंडन, गृह निर्माण, गृह प्रवेश, गहनों की खरीदारी या मोटर गाड़ी की खरीदारी पर निश्चित तौर पर रोक लगी रहेगी।

Back to top button