22 जंगली हाथियों के झुंड ने वन विभाग के सरकारी आवास पर किया हमला, पढ़े पूरी खबर

मोहान क्षेत्र में जंगली हाथियों का उत्पात थमने का नाम नहीं ले रहा है। स्वभाव से उग्र हो चुके हाथियों ने पहले वन विभाग के सरकारी आवास में उत्पात मचाया, इसके बाद झुंड ने एक ग्रामीण की झोपड़ी पर हमला कर दिया। हाथियों के हमले के दौरान वन कर्मियों व ग्रामीणों ने भागकर जान बचाई। रामनगर की सीमा से सटे अल्मोड़ा वन प्रभाग के अंतर्गत जंगल में गुरुवार रात में करीब 22 जंगली हाथियों के झुंड ने पहले वन विभाग के सरकारी आवास पर हमला कर दिया। हाथियों की आहट होने पर वनकर्मी वहां से भाग गए। हाथियों ने आवास के दरवाजे तोड़ डाले। इसके बाद झुंड में शामिल हाथियों के बच्चों ने कमरों के भीतर जाकर बिस्तर व अन्य सामान तहस-नहस कर दिया।

वन कर्मियों ने रिसॉर्ट मालिक व वन्य जीव विशेषज्ञ एजी अंसारी को फोन कर मौके पर बुलाया। अंसारी ने ग्रामीणों की मदद से हाथियों को भगाने का प्रयास किया। लेकिन हाथियों का गुस्सा यहीं नहीं थमा। इसके बाद वह करीब 100 मीटर दूर ललित राम की झोपड़ी की और जाने लगे। ग्रामीणों का शोर सुनकर झोपड़ी में परिवार के साथ सो रहा ललित राम बाहर आया। इसी बीच रिसॉर्ट मालिक एजी अंसारी  झोपड़ी में मौजूद लोगों को सुरक्षित जगह पर ले गए। इसके बाद हाथियों ने झोपड़ी तहस-नहस कर डाली। हवाई फायरिंग के बाद भी हाथी आसपास ही मंडराते रहे। हाथियों के उत्पात से वनकर्मी व ग्रामीण रात भर सहमे रहे। वन विभाग की चौकी पर जंगली हाथियों के हमले की यह चौथी घटना है। इससे पहले भी वह चेकपोस्ट, विभागीय कार्यालय व बंगले में तोडफ़ोड़ कर चुके हैं।

हाथियों के बच्चे भी सीख रहे हमलावर होना

रामनगर : जंगली हाथी पिछले कुछ समय से उत्पात मचा रहे हैं। हाथियों का झुंड कॉर्बेट टाइगर रिजर्व व अल्मोड़ा वन प्रभाग के जंगल के भीतर न जाकर बफर क्षेत्र जंगल के किनारे ही मंडरा रहा है। वन्य जीव विशेषज्ञ एजी अंसारी का कहना है कि बड़े हाथियों को हमला करते देख उनके बच्चे भी हमला करना सीख रहे हैं। ऐसे में बचपन से ही उनमें हमलावर होने की प्रवृति बढ़ रही है। जो भविष्य के लिए ठीक नहीं है।

चार बार संपत्ति को पहुंचा चुके हैं नुकसान

रामनगर : मोहान क्षेत्र अल्मोड़ा व रामनगर वन प्रभाग के बीच में है। जंगली हाथियों ने अब तक चार बार अल्मोड़ा वन प्रभाग की सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया है। जिससे विभाग को काफी नुकसान उठाना पड़ है। दोनों ही प्रभागों की चौकियों में सोलर फेंसिंग नहीं है। यदि सोलर फेंसिंग होती तो हाथियों से सरकारी संपत्ति के नुकसान को बचाया जा सकता था। मोहान के ग्रामीण भी सुरक्षा के लिए सोलर फेंसिंग लगाने की मांग कर चुके हैं। मोहान पहुंचे प्रदेश के मुख्य वन्य जीव प्रतिपालक राजीव भरतरी ने सोलर फेंसिंग लगवाने की दिशा में कार्रवाई करने की बात कही है।

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