लद्दाख में बोले पीएम मोदी, लटकाने भटकाने की परंपरा को देश से करना होगा बाहर
वर्षों से चली आ रही लटकाने–भटकाने की संस्कृति को देश अब पीछे छोड़ आया है। आने वाले समय में लटकाने भटकाने वाली परंपरा का देश निकाला करना है। यह बात प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को लेह में आयोजित कायर्क्रम में कही। इस दौरान उन्होंने तीन हजार रुपये की विकास योजनाओं का शिलान्यास व लोकार्पण भी किया। इसमें दो हजार रुपये की श्रीनगर-द्रास कारिगल-लेह ट्रांसमिशन लाइन भी शामिल है जिसकी आधारशिला प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुद रखी थी।
उन्होंने अपने संबोधन की शुरुआत लद्दाखी भाषा में करते हुए लद्दाख को वीरों की धरती बताया और कहा कि यहां के बहादुर वीरों ने कारगिल समेत कई लड़ाइयां लड़ीं। आप जिन परिस्थितियों में रहते हैं वह मुझे प्रेरणा देता है कि मुझे और काम करना है। आपको सब कुछ ब्याज सहित लौटाना है। मैं इस इलाके में पहले भी काम कर चुका हूं जब मैं पार्टी का संगठन मंत्री था। आपकी दुश्वारियों को दूर करने के लिए पहले भी मैंने कई योजनाओं का शिलान्यास किया था। उम्मीद करता हूं कि लोकार्पण का भी अवसर मिलेगा।
उन्होंने कहा, यहां के बच्चों को पढ़ने के लिए अब बाहर नहीं जाना पड़ेगा। इसके लिए लद्दाख में क्लस्टर यूनिविर्सिटी की स्थापना की जा रही है। इससे लेह, जंस्कार, नुब्रा, कारगिल जैसे इलाकों के बच्चों को लाभ मिलेगा।। इस इलाके में पर्यटकों की व्यापक संभावना है। पिछले साल इस राज्य में तीन लाख पर्यटक पहुंचे जिसमें से एक लाख पर्यटकों ने इस क्षेत्र का भी दौरा किया। इसका अर्थ यह है कि इस राज्य के दौरे पर आने वाले पर्यटकों का एक बड़ा वर्ग यहां आ रहा है। सरकार ने यहां पांच नए ट्रैकिंग रूट शुरु करने की योजना बनाई है जिससे पर्यटकों की संख्या में इजाफा होगा।