रिवरफ्रंट घोटाले को लेकर ईडी ने की छापेमारी, मचा हड़कंप

लखनऊ। रिवरफ्रंट घोटाले को लेकर ईडी ने की छापेमारी इस कार्यवाही से हड़कंप मच गया है। रिवरफ्रंट घोटाले को लेकर प्रवर्तन निदेशालय की टीम ने यूपी समेत चार राज्यों में ताबड़तोड़ छापेमारी की है। लखनऊ के विशालखंड में भी ईडी ने छापेमारी की है। इंजीनियरों व ठेकेदारों के घर भी खंगाले है।
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इस मामले में 8 इंजीनियरों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। सोमवार शाम लखनऊ के गोमतीनगर थाने में सिंचाई विभाग के अधिशासी अभियंता ने ही ये शिकायत दर्ज कराई है।
रिवर फ्रंट पर सीएम योगी आदित्यनाथ के दौरे के बाद जांच कमेटी बनी थी। इस मामले में अधिकारियों और इंजीनियरों पर बेहिसाब खर्च के आरोप हैं। खन्ना समिति ने माना है कि न सिर्फ रिवर फ्रंट के बजट को जरूरत से ज्यादा बढ़ाया गया, बल्कि 65 फीसदी काम होने के बावजूद 90 फीसदी भुगतान किया जा चुका है। खन्ना कमेटी ने ठेके बांटने को लेकर भी मनमानी के आरोप लगाए हैं। जांच रिपोर्ट में अधिकारियों और इंजीनियरों पर सीधे-सीधे उंगली उठाई गई है। बता दें कि गोमती रिवर फ्रंट पूर्व सीएम अखिलेश यादव का ड्रीम प्रोजेक्ट था।
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रिवरफ्रंट में यह FIR शहरी विकास मंत्री सुरेश खन्ना की जांच समिति की रिपोर्ट के बाद दर्ज कराई गई है। जांच समिति ने यह माना है कि रिवरफ्रंट मामले में घोटाला हुआ है। रिवर फ्रंट का बजट कई गुना बढ़ा कर बनाया गया है। इसमें बेहिसाब पैसे खर्च किए गए और मनमाने ढंग से टेंडर बांटे गए।इस FIR के बाद यह माना जा रहा है कि रिवर फ्रंट घोटाले की जांच भी अब सीबीआई के हवाले होगी। रिवर फ्रंट में अनियमितताओं की जांच के लिए बनी खन्ना कमेटी की रिपोर्ट के बाद इस मामले से जुड़े लोगों पर शिकंजा कसना शुरू हो गया है। खन्ना कमेटी ने हाल ही में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को स्टेटस रिपोर्ट सौंपी थी
सूत्रों के मुताबिक, सीएम योगी ने मामले की सीबीआई जांच को भी हरी झंडी दे दी है। हालांकि, आधिकारिक तौर पर इसका आदेश नहीं किया गया है। अब 8 इंजीनियरों के खिलाफ एफआईआर होने के बाद माना जा रहा है कि जल्द ही मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी जाएगी।

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