…तो इस वजह से शादी के दौरान चावल फेंकने की निभाई जाती हैं रस्म
शादी, कई सारे रीति-रिवाजों के साथ की जाती है। ऐसा नहीं कि ये सब सिर्फ भारत में ही होता है बल्कि अन्य देशों में भी कई सारी रस्में होती हैं। लेकिन बहुत सारी रस्में सिर्फ निभा लेते हैं और उनके पीछे के तर्क को नहीं जानते हैं। क्या आपने कभी सोचा है कि शादी के दौरान चावल फेंकने की रस्म को क्यूं निभाया जाता है। क्या इसका कोई वैज्ञानिक कारण है या ये सिर्फ एक रीति ही है। आइए जानते है —
पहला कारण – रोम में यह बहुत ही पुरानी रीति है। यह दर्शाता है कि नवविवाहितों के जीवन में खुशियां आएं और वो हमेशा सम्पन्न रहें।
दूसरा कारण – वर और वधू को संतान की प्राप्ति हो और उनका भाग्य हमेशा उनका साथ दे।
तीसरा कारण – भारत ही नहीं बल्कि अन्य देशों में भी चावल को फेंकने की रस्म को निभाया जाता है। मानते हैं कि इससे परिवार में सुख-समृद्धि आती है।
चौथा कारण – भारत में चावल को हल्दी के साथ फेंका जाता है या वधू की झोली में डाला जाता है। मानते हैं कि इससे जीवन में समृद्धि आती है।
जिन इलाकों या देश में चावल का प्रचलन नहीं हैं वहां सूरजमूखी के बीज, बर्ड सीड आदि को फेंका जाता है। कई स्थानों पर अंडे से भी ऐसा किया जाता है। ये थोड़ा अजीब है लेकिन ऐसा होता है।
दूसरा कारण – वर और वधू को संतान की प्राप्ति हो और उनका भाग्य हमेशा उनका साथ दे।
तीसरा कारण – भारत ही नहीं बल्कि अन्य देशों में भी चावल को फेंकने की रस्म को निभाया जाता है। मानते हैं कि इससे परिवार में सुख-समृद्धि आती है।
चौथा कारण – भारत में चावल को हल्दी के साथ फेंका जाता है या वधू की झोली में डाला जाता है। मानते हैं कि इससे जीवन में समृद्धि आती है।
जिन इलाकों या देश में चावल का प्रचलन नहीं हैं वहां सूरजमूखी के बीज, बर्ड सीड आदि को फेंका जाता है। कई स्थानों पर अंडे से भी ऐसा किया जाता है। ये थोड़ा अजीब है लेकिन ऐसा होता है।