तो इसलिए गुप्तांग को गोरा करवाने में जुटे है यहाँ के लोग, वजह जानकर हिल आओगे…

दुनिया अजीबोगरीब लोगों से भरी पड़ी है. लोग कब कौन सी परंपरा अपना लें कुछ नहीं कहा जा सकता. टूरिज्म के लिए विश्वप्रसिद्ध थाईलैंड में लोगों को इन दिनों लोगों को अजीबोगरीब शौक चढ़ा है. लेकिन यह एक ऐसा शौक है जिसके बारे में सुनकर किसी को भी शॉक लग सकता है. थाईलैंड में लोगों पर चढ़ा यह खुमार अपने गुप्तांग को गोरा बनाने का है.

आजकल थाईलैंड में गुप्तांग को गोरा बनाने के लिए युवाओं में अच्छा क्रेज देखने को मिल रहा है. जानकर हैरानी हो सकती है कि, यह शौक सिर्फ महिलाओं को ही नहीं बल्कि पुरुषों को भी लगा है. वैसे यह परंपरा कोई नई नहीं है, बल्कि दक्षिण अमेरिकी और एशियाई देशों में त्वचा को गोरा बनाने की ख्वाहिश लोगों में आम है पिछले कुछ वर्षों में दक्षिण एशिया में चमड़ी को गोरा करने का चलन ज़ोर पकड़ रहा है.

आज के समय में बाज़ार में त्वचा को गोरा बनाने वाले उत्पादों और उनके प्रचारों की भरमार है. यह एक तथ्य है कि, टीवी मीडिया जगत के प्रचारों में ज्यादातर गोरा बनाने वाले भ्रामक प्रचार ही होते हैं. बल्कि ब्यूटी प्रोडक्ट लाइन आज के समय में खरबों का धंधा करती है.

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बीबीसी की एक रिपोर्ट की माने तो, गुप्तांग गोरा करने के इस इलाज में त्वचा में मेलानिन का स्तर कम किया जाता है. इस इलाज के कई सत्र होते हैं और पूरे पांच सत्रों की इस पूरी प्रक्रिया का खर्च 650 डॉलर है. बताया जा रहा है, ये चलन गे पुरुषों के बीच काफ़ी लोकप्रिय हो रहा है जो अपने निजी अंगों का ख़ास ख़्याल रखते हैं.कुछ ऐसा ही उन लोगों के साथ है जो अपने गुप्तांगो का डिजाइन बदलवाना चाहते हैं. उन्हें मन मुताबिक़ आकार दिया जा रहा है.

बीबीसी के अनुसार, थाई मंत्रालय ने इस परंपरा से लोगों को दूर रहने की अपील करते हुए लोगों को चेताया है कि इस प्रक्रिया से गुज़रने पर दर्द, निशान, जलन, बच्चे पैदा करने और यहां तक कि बनाने में भी समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है.

सिर्फ यही नहीं बल्कि ऐसे ट्रीटमेंट रोकने पर त्वचा का रंग फिर पहले जैसा हो सकता है और उस पर गंदे धब्बे भी पड़ सकते हैं. लेकिन मीडिया रिपोर्ट्स की माने तो लोगों पर इसका कोई असर नहीं हो रहा है बल्कि दिन प्रतिदिन इसका क्रेज लोगों में बढ़ता ही जा रहा है. सोशल मीडिया पर लोग इस प्रोग्राम की जमकर खिंचाई भी कर रहे हैं.

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