भारतीय क्रिकेट टीम आज से ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ शुरू हो रही 5 मैच की वनडे सीरीज में भी प्रयोग करना जारी रखेगी ताकि ‘वर्ल्ड कप टीम’ के स्थान सुनिश्चित हो सकें। टीम धीरे-धीरे वर्ल्ड कप के रंग में ढल रही है और जहां तक कप्तान विराट कोहली और कोच रवि शास्त्री का संबंध है तो हाल में समाप्त हुई टी-20 सीरीज में 0-2 की हार भी इस योजना पर कोई असर नहीं होगा।
कोहली ने बेंगलुरु में मिली हार के बाद कहा, ‘हर टीम वर्ल्ड कप से पहले खुद को बेहतर करना चाहती है और हम वनडे सीरीज में भी यही क्रम जारी रखेंगे, लेकिन फिर भी हम हर मैच को जीतना चाहते हैं।’ कम से कम 4 खिलाड़ियों के प्रदर्शन को देखा जाएगा और अच्छा प्रदर्शन सुनिश्चित करेगा कि उन्हें वर्ल्ड कप टीम में प्रवेश मिलेगा या नहीं।
लोकेश राहुल, ऋषभ पंत, विजय शंकर और सिद्धार्थ कौल ये चार खिलाड़ी हैं जो ब्रिटेन जाने वाली 15 सदस्यीय टीम में 2 उपलब्ध स्थान के लिए जद्दोजहद करेंगे। हालांकि कइयों का मानना है कि दिनेश कार्तिक को भी टीम में जगह बनाने के मौके से बाहर नहीं किया जा सकता और वो भी इन खिलाड़ियों के प्रदर्शन पर निगाह लगाए होंगे।
लेकिन इन 4 खिलाड़ियों के लिए ये पांच मैच ‘परीक्षा की घड़ी’ होंगे और अंतिम एकादश में शामिल किए जाने के बाद वे अपना सर्वश्रेष्ठ करना चाहेंगे। राहुल ने दो टी20 में 50 और 47 रन की पारी खेली, वह अच्छी लय में हैं और शीर्ष क्रम में उन्हें और मौके मिलने की उम्मीद है। यह बल्लेबाज रिजर्व सलामी बल्लेबाज के स्थान को कब्जाना चाहता है और कौन जानता है, अगर शिखर धवन की अनिरंतर फॉर्म जारी रहती है तो वह टीम में स्थान पक्का कर सकते हैं।
सभी की निगाहें ऋषभ के प्रदर्शन पर लगी हैं जो छोटे प्रारूप में निरंतर प्रदर्शन नहीं कर सके हैं। लेकिन उसकी प्रतिभा और अकेले दम पर मैच में जीत दिलाने की क्षमता को देखते हुए टीम प्रबंधन अंतिम फैसला करने से पहले उसे कुछ और मैच देना चाहेगा। विजय शंकर की गेंदबाजी इतनी बेहतर नहीं है लेकिन हार्दिक पंड्या की फिटनेस के कारण वह दूसरे ऑलराउंडर के स्थान पर दावा करने के लिए दौड़ में बने रहेंगे। हालांकि पंड्या पहली पसंद रहेंगे।
कौल टीम में रिजर्व तेज गेंदबाज के रूप में जगह बना सकते हैं क्योंकि टीम प्रबंधन की खलील अहमद को परखने की योजना का मनमुताबिक नतीजा नहीं मिला। मोहम्मद शमी और जसप्रीत बुमराह पहली पसंद हैं, जिससे कौल को अपनी काबिलियत साबित करने के लिये शायद दो मैच मिल सकते हैं। लेकिन कोहली और कोच शास्त्री ‘कोर टीम’ में ज्यादा छेड़छाड़ नहीं करना चाहेंगे क्योंकि सीरीज में शानदार जीत हमेशा बेहतर होगी।
अंबाती रायुडू, अनुभवी ऑलराउंडर केदार जाधव और शमी भारतीय टीम में वापसी कर चुके हैं तो एरोन फिंच और उनके खिलाड़ियों के लिये वनडे सीरीज पूरी तरह से अलग तरह की चुनौती होगी। वहीं कलाई के स्पिनर कुलदीप यादव ओर युजवेंद्र चहल की जोड़ी मध्य के ओवरों में रन गति पर लगाम कसने का काम करेगी।
जाधव की गेंदबाजी का सामना करने में ग्लेन मैक्सवेल, डार्सी शॉर्ट, मार्कस स्टोइनिस और शॉन मार्श को परेशानी हो सकती है। बुमराह को सीरीज में भारत की स्थिति को देखते हुए एक या दो मैचों में आराम दिया जा सकता है क्योंकि वह इंग्लैंड में भारत के मुख्य गेंदबाज होंगे।
वहीं ऑस्ट्रेलियाई टीम टी-20 की लय को जारी रखना चाहेंगी। नाथन लियोन की मौजूदगी उसके स्पिन विभाग को पैना करेगी जिसमें उनके साथ एडम जम्पा होंगे। चोटिल केन रिचर्डसन की जगह शामिल हुए एंड्रयू टाई आईपीएल फ्रेंचाइजी के अनुभव का फायदा उठाना चाहेंगे।
भारतः विराट कोहली( कप्तान), रोहित शर्मा( उपकप्तान), शिखर धवन, अंबाती रायुडु, केदार जाधव, महेंद्र सिंह धोनी (विकेटकीपर), रवींद्र जडेजा, जसप्रीत बुमराह, मोहम्मद शमी, युजवेंद्र चहल, कुलदीप यादव, विजय शंकर, ऋषभ पंत, सिद्धार्थ कौल, केएल राहुल
ऑस्ट्रेलियाः आरोन फिंच (कप्तान), पैट कमिंस, एलेक्स कारे, जेसन बेहरेनडोर्फ, नाथन कोल्टर नाइल, पीटर हैंड्सकॉम्ब, उस्मान ख्वाजा, नाथन लॉयन, शॉन मार्श, ग्लेन मैक्सवेल, जे रिचर्डसन, डार्सी शॉर्ट, मार्कस स्टोइनिस, एश्टन टर्नर, एडम जांपा और एंड्रयू टाई।