इंडियन रेलवे ने किया बड़ा बदलाव, शताब्दी में सफर करते हैं तो जरूर देखें…

इंडियन रेलवे ने अपने एक नियम में बड़ा बदलाव किया है। अगर आप भी रोजाना शताब्दी एक्सप्रेस में सफर करते हैं, जो जरूर पढ़ें बड़े फायदे की है।इंडियन रेलवे ने किया बड़ा बदलाव, शताब्दी में सफर करते हैं तो जरूर देखें...

कालका-नई दिल्ली शताब्दी से फ्लेक्सी फेयर हटा लिया गया है। इसे 15 मार्च 2019 से लागू कर दिया जाएगा। इसकी बुकिंग प्रक्रिया शुरू कर दी गई है, क्योंकि ट्रेन के प्रस्थान से छह माह पहले बुकिंग का प्रावधान है। बता दें कि सुबह और शाम को चलने वाली दोनों शताब्दी एक्सप्रेस की ऑक्यूपेंसी 50 फीसदी से कम पाई गई है। इसलिए ट्रेन से फ्लेक्सी फेयर हटाया गया है।

रेलवे यात्रियों की सुविधा के लिए लगातार बदलाव कर रही है। हाल ही में यात्रियों के जनरल टिकट बुक करने के लिए यूटीएस एप भी लांच किया गया है। वहीं, आईआरसीटीसी ने अपने मेन्यू में भी कई बदलाव किए हैं। इसके अलावा वेबसाइट में वेटिंग टिकट होने पर वो कंफर्म होगा कि नहीं ये भी बताने की सुविधा शुरू की है। इसके अलावा वेबसाइट के जरिए ओला कैब भी बुक कर सकेंगे। यात्रियों को इस वेबसाइट पर खाना ऑर्डर करने की सुविधा भी जोड़ी गई है।

इन दो शताब्दी एक्सप्रेसों में नहीं लगेगा फ्लेक्सी फेयर
– समय सुबह- 6.53 बजे- 12006- कालका-चंडीगढ़ नई दिल्ली शताब्दी एक्सप्रेस
– समय शाम- 6.23 बजे- 12012- कालका-चंडीगढ़-नई दिल्ली शताब्दी एक्सप्रेस

मौजूदा 1.5 गुना सीमा घटा कर 1.4 गुना कर दी गई है

जिन ट्रेनों में महीने में औसतन 50 से 75 प्रतिशत के बीच सीटें भरती हैं, उनमें से कुछ ट्रेनों में तीन महीने की अवधि (जब यात्रियों की संख्या कम रहती है) के लिए फ्लेक्सी फेयर हटा दिया जाएगा। सभी श्रेणियों में मौजूदा 1.5 गुना सीमा घटा कर 1.4 गुना कर दी जाएगी। उन्होंने कहा कि 2 एसी, 3 एसी और एसी चेयर कार में यात्रियों की संख्या बढ़ाने के लिए सभी ट्रेनों में फ्लेक्सी फेयर के साथ अंतिम किराये में 20 फीसदी की श्रेणीबद्ध छूट दी जाएगी।

फरवरी, मार्च व अगस्त में नहीं लगेगा फ्लेक्सी फेयर
समय दोपहर 12 बजे- 12046-चंडीगढ़-नई शताब्दी एक्सप्रेस।
समय शाम 7.15 बजे- 12045-नई दिल्ली-चंडीगढ़ शताब्दी एक्सप्रेस।
समय शाम 5.15 बजे- 12005-नई दिल्ली-कालका शताब्दी एक्सप्रेस।

क्या होता है फ्लेक्सी फेयर
फ्लेक्सी फेयर प्रणाली पूरी तरह से मांग-आपूर्ति पर निर्भर होती है। जिस समय टिकट की मांग ज्यादा होती है उस समय टिकट की कीमतें बढ़ा दी जाती है। वहीं, दूसरी ओर जब टिकट की मांग कम हो जाती हैं तब कीमतें सामान्य हो जाती हैं। अब तक हवाई जहाज की टिकटों में ऐसा होता था। इसे सितंबर, 2016 को 44 राजधानी, 46 शताब्दी और 52 दुरंतों (प्रीमियम सुपरफास्ट कैटेगिरी) ट्रेनों के लिए लागू किया गया था।

बता दें कि ट्रेन में फर्स्ट एसी और एग्जीक्यूटिव कैटेगिरी की कीमतों में कोई बदलाव नहीं होता है। इसमें शुरुआत में पहली 10 फीसदी सीटों के लिए सामान्य किराया लागू होता है, इसके बाद प्रत्येक 10 फीसदी बर्थ की बुकिंग के बाद किरायों में 10 फीसदी की बढ़ोतरी कर दी जाती है। मांग के आधार पर इसमें अधिकतम 50 फीसदी तक किराया बढ़ता है। सेकेंड एसी और चेयरकार के लिए अधिकतम 50 फीसदी की बढ़ोतरी होती है। वहीं थर्ड एसी के लिए यह सीमा 40 फीसदी अधिक होती है। अन्य चार्जेस जैसे कि आरक्षण शुल्क, सुपरफास्ट शुल्क, कैटरिंग शुल्क और सेवा कर में बदलाव नहीं होता है।

क्या कहना है नार्दन रेलवे के पीआरओ का
नॉर्दन रेलवे के पीआरओ दीपक ने बताया कि 15 मार्च 2019 से कालका-नई दिल्ली शताब्दी से फ्लेक्सी फेयर हटा लिया जाएगा। इसकी बुकिंग प्रक्रिया छह माह पहले ही शुरू कर दी गई है। इसके अलावा जिन ट्रेनों में महीने में औसतन 50 से 75 प्रतिशत के बीच सीटें भरती हैं, उनमें से कुछ ट्रेनों में तीन महीने की अवधि (जब यात्रियों की संख्या कम रहती है) के लिए फ्लेक्सी फेयर हटा दिया जाएगा।

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