अभय चौटला ने दुष्‍यंत पर किए ताबड़तोड़ हमले, कहा- नहीं टूटेगा इनेलो और बसपा का गठजोड़

 इनेलो और बसपा का गठबंधन टूटने की चर्चाओं को खारिज करते हुए विपक्ष के नेता अभय चौटाला ने लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ लड़ने का दावा किया है। उन्‍हाेंने कहा कि दोनों दलों का गठजोड़ टूटने को लेकर जो बातें कही जा रही हैं वह बिल्‍कुल निराधार है। उन्‍होंने जननायक जनता पार्टी नेता और अपने भतीजे दुष्‍यंत चौटाला पर भी जमकर हमले किए।अभय चौटला ने दुष्‍यंत पर किए ताबड़तोड़ हमले, कहा- नहीं टूटेगा इनेलो और बसपा का गठजोड़

पिरथी नंबरदार के इनेलो छोड़ जेजेपी का दामन थामने की बात की खारिज

यहां पत्रकारों से बातचीत में अभय चौटाला ने कहा कि बहुजन समाज पार्टी और इंडियन नेशनल लोकदल का गठजोड़ अटूट है और हम एक साथ लोकसभा व विधानसभा चुनाव लड़ेंगे। इनेलो की राष्ट्रीय और प्रदेश कार्यकारिणी से दूरी बनाकर जेजेपी के साथ खड़े हुए पिरथी नंबरदार को पार्टी का वफादार सिपाही बताते हुए चौटाला ने कहा कि फोटो खिंचवाने से कुछ नहीं होता। अकाली विधायक बलकौर सिंह के यहां भी दुष्यंत ने जबरन जेजेपी का झंडा लहराया था जो अगले ही दिन उतर गया।

चंडीगढ़ के जाट भवन में बुधवार को हुई बैठक में पार्टी के करीब आधा दर्जन विधायकों की गैरमौजूदगी चर्चाओं में रही। बैठक में नैना चौटाला के अलावा दुष्यंत के साथ खुलकर घूम रहे राजदीप फौगाट, अनूप धानक, पिरथी सिंह नंबरदार, केहर सिंह रावत और नगेंद्र भड़ाना ने भाग नहीं लिया। हालांकि इनेलो नेताओं ने दावा किया कि केहर सिंह रावत कहीं बाहर होने के कारण बैठक में नहीं आए। नगेंद्र भड़ाना पहले ही पार्टी से दूरी बनाकर भाजपा से जुड़े हुए हैं।

कार्यकारिणी की बैठक में अभय चौटाला ने पार्टी पदाधिकारियों में उत्साह भरते हुए कहा कि चुनाव जीतना है तो सोशल मीडिया को हथियार बनाओ। स्वर्गीय उपप्रधानमंत्री ताऊ देवीलाल और प्रताप सिंह कैरों के जमाने के किस्से सुनाकर अभय ने कार्यकर्ताओं के दिलों का असमंजस दूर करने का प्रयास किया।

उन्होंने वर्ष 2009 में भाजपा के साथ गठबंधन को याद करते हुए कहा कि लोकसभा में सभी सीटें कांग्रेस को मिलने के बाद भाजपा ने गठबंधन तोड़ दिया तो मीडिया ने जमकर इनेलो के खिलाफ लिखा। इसके बावजूद पार्टी ने वर्ष 2009 के चुनाव में 31 सीटें जीतीं।

चौटाला ने सांसद भतीजे दुष्यंत की तरफ इशारा करते हुए कहा कि वह सारा दिन फोन घुमाने और सोशल मीडिया पर भ्रामक प्रचार करने में जुटे रहते हैं। आज जो लोग दुष्यंत के साथ खड़े हैं उनका कोई राजनीतिक वजूद नहीं है। इनेलो के साथ आज भी विरोधी दलों के कद्दावर नेता संपर्क में हैं। ओम प्रकाश चौटाला जेल से बाहर आने के बाद अब कार्यकर्ताओं से मुलाकात करेंगे। उन्होंने कहा कि मनोहरलाल सरकार लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ नहीं कराएगी। इसके चलते बसपा और इनेलो ने अपने कार्यकर्ताओं और नेताओं को चुनाव की तैयारी शुरू करने के निर्देश दिए हैं। 

दुष्यंत चौटाला को दी उचाना से विधानसभा चुनाव लड़ने की चुनौती

अभय चौटाला ने कहा कि दुष्यंत चौटाला अगर सांसद बने हैं तो इनेलो कार्यकर्ताओं की बदौलत। दुष्यंत को उचाना से विधानसभा चुनाव लड़ने की चुनौती देते हुए अभय ने कहा कि वह यहां 37 हजार मतों से हारेंगे। नैना चौटाला का नाम लिए बगैर उन्होंने कहा कि डबवाली से चुनाव लड़ीं तो उनके गांव से भी सौ वोट नहीं मिलेंगे।

कहा,  सांसद रोड़ी पर भी डोरे डाल रहा है दुष्‍यंत

अभय चौटाला ने कहा कि लंबे समय तक इनेलो में रहने के कारण दुष्यंत के अधिकतर नेताओं और कार्यकर्ताओं से परिवारिक संबंध हैं। इसका लाभ लेकर वह उन्हें फोन करके अपने साथ जुड़ने अथवा इनेलो कार्यकर्ताओं से उनके घर आने के लिए समय मांगते रहते हैं। अभय ने चुटकी लेते हुए कहा कि संसद में दुष्यंत चौटाला का ज्यादातर समय अपने साथ बैठने वाले चरणजीत सिंह रोड़ी को इस बात के लिए मनाने में निकलता है कि वह कब जेजेपी में शामिल होंगे।

किसानों को 21 हजार रुपये पेंशन देने की मांग का प्रस्‍ताव पारित

इनेलो प्रदेश कार्यकारिणी की बैठक में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पारित कर किसानों को 21 हजार रुपये पेंशन और स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों के आधार पर फसल लागत पर 50 फीसद मुनाफा सीधे किसानों के खातों में डालने की मांग की गई। बैठक में पारित प्रस्ताव में किसानों को छह हजार रुपये पेंशन को नाकाफी बताते हुए किसानों का पूरा कर्ज माफ करने की वकालत की गई।

बजट सत्र के लिए विधायकों संग जिला पदाधिकारी जुटाएंगे मुद्दे

इनेलो प्रदेश कार्यकारिणी की बैठक में बजट सत्र को लेकर भी रणनीति बनाई गई। अभय चौटाला ने सभी जिला पदाधिकारियों को उनके जिलों में जनहित के मुद्दों की फेहरिस्त बनाने की जिम्मेदारी सौंपी तो बाद में पार्टी मुख्यालय में विधायकों की अलग से बैठक बुलाकर विधानसभा में लगाए जाने वाले सवालों पर चर्चा की। जनसमस्याओं के मुद्दों पर पार्टी विधानसभा में सरकार को घेरने के साथ ही लोकसभा चुनाव में भी इसे मुद्दा बनाएगी।

 

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