अगर नहीं किया 31 दिसंबर तक आईटीआर तो…देना होगा भारी जुर्माना
अगर आप 31 दिसंबर की तय समय-सीमा के बाद आईटीआर दाखिल करते हैं तो ये जुर्माना बढ़कर 10 हजार रुपये हो जाएगा। वित्तीय वर्ष 2018-19 के लिए आयकर विभाग ने आईटीआर दाखिल करने के लिए 31 जुलाई की समयसीमा निर्धारित की थी लेकिन बाद में इसे बढ़ाकर 31 अगस्त कर दिया गया।
नियत तारीख के बाद आईटीआर दाखिल करने वाले सभी की आईटीआर को विलम्बित माना जाएगा और उसी हिसाब से जुर्माना भरना पड़ेगा। आयकर अधिनियम, 1961 के सेक्शन 234एफ के तहत 31 दिसंबर 2019 तक रिटर्न फाइल करने वाले को 5,000 रुपये तथा इसके बाद रिटर्न फाइल करने वालों को 10,000 रुपये की पेनल्टी देनी पड़ेगी।
अगर आईटीआर फाइल करने वाले की कुल आय पांच लाख रुपये है तो विलम्बित आईटीआर के लिए पेनल्टी 1,000 रुपये है। ध्यान रहे कि अगर किसी व्यक्ति की ग्रॉस टोटल इनकम टैक्स छूट की सीमा को पार नहीं करती है तो उसे 31 अगस्त, 2019 के बाद और 31 मार्च, 2020 तक आईटीआर फाइल करने पर भी लेट फाइन नहीं देना होगा।