भारत ने पाक शूटर्स को नहीं दिया वीजा तो इंटरनेशनल इवेंट्स की मेजबानी पर IOC ने लगाया बैन

भारत को करारा झटका लगा जब पाकिस्तानी शूटर्स को विश्व कप के लिए वीजा नहीं देने के चलते अंतरराष्ट्रीय ओलिंपिक समिति (आईओसी) ने भविष्य में उसके द्वारा किसी भी इंटरनेशनल खेल इवेंट की मेजबानी पर प्रतिबंध लगा दिया। इससे भारत के ओलिंपिक खेलों की मेजबानी की उम्मीदों को झटका लगा है।

भारत ने विश्व कप के 25 मीटर रैपिड फायर पिस्टल इवेंट में हिस्सा लेने वाले दो पाकिस्तानी शूटर्स को वीजा देने से इंकार कर दिया था। इसके बाद अंतरराष्ट्रीय औलिंपिक समिति ने दिल्ली विश्व कप में ओलिंपिक कोटा स्थान को 16 से घटाकर 14 कर दिया। इसके साथ ही आईओसी ने भारत को किसी भी अंतरराष्ट्रीय खेल इवेंट की मेजबानी करने से निलंबित कर दिया जब तक कि वे ओलिंपिक चार्टर का पालन करने की लिखित गारंटी नहीं देता है।

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आईओसी ने लुसाने में लंबी बैठक के बाद यह फैसला किया। पाकिस्तानी शूटर्स को वीजा नहीं देने की वजह से 25 मीटर रैपिट फायर पिस्टल वर्ग में इस विश्व कप के दौरान ओलिंपिक कोटा नहीं रहेगा। यह विश्व कप दिल्ली में खेला जा रहा है।

उल्लेखनीय है कि जम्मू कश्मीर के पुलवामा में आतंकवादियों के आत्मघाती हमले मे सीआरपीएफ के 40 जवान शहीद हो गए थे। इसके बाद से पूरे देश में गुस्सा है और पाकिस्तान के साथ सभी प्रकार के संबंध तोड़ने की मांग की जा रही है। दिल्ली में चल रहे शूटिंग विश्व कप में पाकिस्तान के जीएम बशीर और खलील अहमद को 25 मीटर रैपिड फायर पिस्टल इवेंट में हिस्सा लेना था लेकिन भारत ने इन दो शूटर्स और उनके कोच को वीजा नहीं दिया जिसके चलते आईओसी ने यह कदम उठाया और इस इवेंट को ओलिंपिक कोटा वापस ले लिया।

आईओसी ने कहा कि जब तक भारत ओलिंपिक चार्टर के पालन की लिखित गारंटी नहीं देगा तब तक उसके ओलिंपिक से जुड़े इंटरनेशनल इवेंट्स की मेजबानी पर प्रतिबंध रहेगा। भारत 2026 के यूथ ओलिंपिक्सस 2032 के ओलिंपिक्स और 2030 के एशियाई खेलों की मेजबानी हासिल करना चाहता है। भारत 2032 के ओलिंपिक खेलों की मेजबानी के लिए पहले ही इच्छा जता चुका है। 2026 के यूथ ओलिंपिक खेलों की मेजबानी के लिए दावा करने की प्रक्रिया अगले साल शुरू होगी।

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