#बड़ी खबर: अजहर के भाई मौलाना अम्मार ने माना, हवाई हमले से बालाकोट में हुई जबरदस्त तबाही
पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने एक दिन पहले ही ये बात स्वीकार की है कि आतंकी मसूद पाकिस्तान में ही रह रहा है। मसूद का भाई अम्मार जैश की जिहादी गतिविधियों का हिस्सा है। वह बालाकोट में आतंकी प्रशिक्षण की देखरेख करता था। बालाकोट कैंप के अलावा कई अन्य कैंपों में भी वो कश्मीर के नाम पर युवाओं में नफरत भरने का काम करता है।
अधिकारियों का कहना है कि ये ऑडियो एक पाकिस्तानी पत्रकार द्वारा ट्वीट किया गया, जो फ्रांस में रहता है। इस ऑडियो को बाद में भारतीय सुरक्षा एजेंसियों ने सत्यापित भी किया।
इस ऑडियो में अम्मार कह रहा है, ‘दुश्मनों ने इस्लामिक देश में प्रवेश करने के लिए सीमा को पार कर युद्ध की घोषणा की है और मुस्लिम स्कूलों पर बम गिराए हैं। तो, अपने हथियार उठाओ और उन्हें दिखा दो कि जिहाद अभी भी एक कर्तव्य है।’ अधिकारियों का मानना है कि ये ऑडियो बालाकोट पर हुए हवाई हमले के दो दिनों बाद का है और इसमें अम्मार आतंकियों का पेशावर स्थित ‘मदरसा सनान बिन सलमा’ में संबोधन कर रहा है।
अम्मार ऑडियो में कह रहा है, “मैं आपको याद दिला दूं कि भारत के लड़ाकू विमानों ने किसी भी एजेंसी के सुरक्षित घरों पर बम नहीं गिराए, उसने किसी मुख्यालय को निशाना नहीं बनाया, उसने एजेंसियों (जैश-ए-मोहम्मद) के मीटिंग पॉइंट पर भी हमला नहीं किया, उसने उन स्कूलों पर हमला किया है जहां छात्र जिहाद को बेहतर तरीके से समझने के लिए प्रशिक्षित किए जाते हैं और जुल्म सहने वाले कश्मीरियों की मदद की कसम खाते हैं। हमारे क्षेत्र में प्रवेश कर और हमारे स्कूलों को निशाना बना, भारत ने उनके खिलाफ जिहाद सुनिश्चित किया है।”
सुरक्षा एजेंसी के एक अधिकारी का कहना है कि इस ऑडियो मैसेज से ये साफ है कि भारतीय वायु सेना के हवाई हमले से आतंकी ठिकानों को भारी नुकसान हुआ है।
भारतीय लड़ाकू विमानों ने 26 फरवरी को पाकिस्तान के बालाकोट के जंगली इलाके पर हवाई हमला किया था। ये वही जगह है जहां आतंकी जंगल में छिपकर रहते हैं। यहां आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद का ठिकाना भी है। जिसे भारत ने इस हवाई हमले से नष्ट कर दिया है। वायु सेना का कहना है कि हवाई हमले में पाकिस्तान के कई आतंकी ठिकानों को खत्म किया गया है, इस दौरान कई आतंकवादियों को भी मार गिराया गया। रिहायशी इलाकों को कोई नुकसान न पहुंचे इस बात का खास ध्यान रखा गया था। आतंकियों पर हमला करना इसलिए भी जरूरी था क्योंकि वो पुलवामा हमले के बाद एक और हमला करने की साजिश रच रहे थे।
लेकिन इसके अगले दिन ही पाकिस्तान ने भारतीय वायुक्षेत्र का उल्लंघन कर सैन्य ठिकानों को निशाना बनाया। भारत ने 14 फरवरी के पुलवामा आतंकी हमले का बदला लेने के लिए 26 फरवरी को एयर स्ट्राइक की थी। पुलवामा हमले में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के 40 जवान शहीद हो गए थे। इस आत्मघाती हमले की जिम्मेदारी पाकिस्तान स्थित आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने ली थी।