सदियों पहले चाणक्य ने बताए थे ये 7 रहस्य

ecominicseven_21_09_2015अमूमन लोग आचार्य चाणक्य को कूटनीति और राजनीति के ज्ञाता मनाते हैं लेकिन आचार्य चाणक्य ने इंसानों को जीवन में सफलता के कई उपाए बताए हैं।

आचार्य चाणक्य का जन्म करीब 300 ईसा पूर्व हुआ था। आचार्य चाणक्य का संबंध पाटलिपुत्र से था, जिसे उन्होंने अपनी कर्मभूमि बनाया। आचार्य चाणक्य नीतिशास्त्र और अर्थशास्त्र का जनक भी हैं। उनका कहना था कि…

  • ऋण इंसान को कभी भी खुश नहीं रहने देता है। ऋण मनुष्य का सबसे बड़ा शत्रु है। यदि जीवन में खुशहाल रहना है तो ऋण की एक फूटी कौड़ी भी पास नहीं रखनी चाहिए।
  • मनुष्य सबसे दुखी भूतकाल और भविष्यकाल की बातों को सोचकर होता है। केवल वर्तमान के विषय में सोचकर अपने जीवन को सफल बनाया जा सकता है।
  • शिक्षा ही मनुष्य की सबसे अच्छी और सच्ची दोस्त होती है क्योंकि एक दिन सुंदरता और युवावस्था छोड़कर चली जाती है परन्तु शिक्षा एक मात्र ऐसी धरोहर है जो हमेशा उसके साथ रहती है।
  • व्यवसाय में लाभ से जुड़े अपने राज किसी भी व्यक्ति के साथ साझा करना आर्थिक दृष्टी से हानिकारक हो सकती है। अत: व्यवसाय की वास्तविक ज्ञान को अपने तक ही सिमित रखें तो उत्तम होगा।
  • किसी भी कार्य को शुरू करने से पहले कुछ प्रश्नों का उत्तर अपने आप से जरुर कर लें कि, क्या तुम सचमुच यह कार्य करना चाहते हैं? आप यह काम क्यों करना चाहते हैं? यदि इन सब का जवाब सकारात्मक मिलता है तभी उस काम की शुरुआत करनी चाहिए।
  • इंसान कभी-कभी खुद के डर से ही भयभीत हो जाता है। यह दशा काफी खराब होती है। अत: किसी भी बात का भय है तो उसका सामना कर उसे जड़ से समाप्त कर देना चाहिए।
  • आचार्य चाणक्य कहते हैं कि जरुरत से ज्यादा सीधा-साधा भी सफलता के लिए ठीक नहीं होता है। जैसे- सीधा खड़ा वृक्ष सबसे पहले कटता है। ठीक उसी तरह बहुत ज्यादा ईमानदारी भी घातक सिद्ध हो सकती है।
 
 
 

 

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