रेस्ट्रॉन्ट बिजनस करने की सोच रहे है तो वास्तु से जुड़ी ये बातें हैं आपके काम की
वीकेंड पर जब हम फैमिली के साथ मस्ती के मूड में होते हैं तो बाहर जाकर रेस्ट्रॉन्ट में खाना भी हमारी विशलिस्ट में शामिल होता है। यही वजह है कि रेस्ट्रॉन्ट का बिजनस आजकल काफी तेजी से आगे बढ़ रहा है। रेस्ट्रॉन्ट की सफलता काफी हद तक उसके वास्तु पर भी निर्भर करती है। आज हम आपको बता रहे हैं कि वास्तु के अनुसार, रेस्ट्रॉन्ट में बैठने की व्यवस्था, रसोई और कैश काउंटर आदि का सही स्थान कौन-सा है…
प्रवेश द्वार हो ऐसा
रेस्ट्रॉन्ट का प्रवेश द्वार पश्चिम दिशा में होना चाहिए। प्रवेश द्वार साफ-सुथरा और आकर्षक रखें क्योंकि चाहे अतिथि हो या सफलता, समृद्धि, सकारात्मक ऊर्जा, सब कुछ प्रवेश द्वार के माध्यम से ही आता है। प्रवेश द्वार पर महकवाले फूलों के गुलदस्ते सकारात्मक ऊर्जा को आकर्षित करते हैं।
कैश काउंटर और रिसेप्शन के लिए यह दिशा उपयुक्त
रिसेप्शन या कैश काउंटर पश्चिम दिशा में होना चाहिए और उस पर बैठनेवाले व्यक्ति की दिशा ऐसी होनी चाहिए कि उसका मुख वायव्य कोण की ओर रहे।
बैठने की व्यवस्था होनी चाहिए ऐसी
रेस्ट्रॉन्ट में खानेवाले ग्राहकों का मुख पूर्व दिशा या फिर पूर्व-पश्चिम दिशा की ओर होना चाहिए। खानेवाली टेबल गोलाकार कोनों के साथ या फिर वर्गाकार और आयताकार होनी चाहिए।
रसोई के लिए यह दिशा उपयुक्त
मेहमानों के लिए स्वादिष्ट भोजन बनाने के लिए रसोईघर दक्षिण-पूर्व के बाद उत्तर-पश्चिम दिशा में सही रहता है। रसोई में फ्रिज को पश्चिम दिशा में और सभी कच्चे माल और अनाज के भंडारण के लिए दक्षिण-पश्चिम कोना चुनना चाहिए।
इलेक्ट्रिक उपकरण और पीने का पानी हो इस दिशा में
रेस्ट्रॉन्ट में सभी इलेक्ट्रिक उपकरणों को दक्षिण-पूर्व, दक्षिण या फिर पूर्व के कोने में रखा जाना चाहिए। वहीं, पीने के पानी का स्थान उत्तर-पूर्व, उत्तर या फिर पूर्व, पश्विम में होना चाहिए।
बार काउंटर के लिए सही दिशा
बार काउंटर के लिए वास्तु में दक्षिण-पूर्व दिशा सही बताई गई है। जबकि बार काउंटर के लिए सिटिंग उत्तर या फिर उत्तर-पूर्व में होना चाहिए। बार काउंटर पर आपको दर्पण का प्रयोग अधिक से अधिक करना चाहिए ताकि इस दिशा में विस्तार नजर आए और अधिक से अधिक बिक्री हो सके।
दीवारों का रंग हो ऐसा
रेस्ट्रॉन्ट की दीवारें और अन्य डेकोरेशन भी वास्तु के अनुरूप होना चाहिए। मेहमानों के मूड को अच्छा रखने के लिए दीवारों पर नारंगी, पीले या फिर क्रीम और भूरे रंगों का प्रयोग किया जाना चाहिए