यूपी सरकार के इस ऐलान से क्यों खफा है दवा कारोबारी

न्यूज़ डेस्क
लखनऊ। योगी सरकार ने प्रदेश के सभी मेडिकल स्टोर्स को अब खांसी, जुकाम, बुखार की दवा लेने वालों का ब्योरा यूपी सरकार को देने फरमान सुनाया है।
यूपी ड्रग कंट्रोलर एके जैन ने इस संबंध में सभी जिला औषधि प्रशासन अधिकारी को दिशा- निर्देश जारी कर दिए हैं। इस सरकारी फरमान के बाद से दवा कारोबारियों में काफी निराशा देखी जा रही है।
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निर्देशों के मुताबिक सभी मेडिकल स्टोरों पर जो बुखार, जुकाम और खांसी की दवा मांगने के लिए आए तो उसकी जानकारी सरकार को देनी है। सरकार का इन तमाम चीजों के पीछे तर्क है कि कोविड-19 को लेकर इस कदम से ज्यादा जागरूकता फैलाई जा सकेगी।

साथ ही सरकार के पास इन तमाम लोगों का डाटा भी उपलब्ध होगा और इससे स्कैन करके कोविड-19 के लोगों को लोगों की पहचान की जा सकेगी।
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दवा लेने से पहले देनी होगी ये जानकारी
ऐसे में अब जब आप किसी मेडिकल स्टोर और संचालक के पास बुखार, जुकाम और खांसी की दवा खरीदने जाएंगे तो वो आपसे पूछेगा कि आपका नाम क्या है? आप कहां रहते हैं? और आपका मोबाइल नंबर क्या है? इस जानकारी के बाद बुखार, जुकाम और खांसी की दवा के बारे में भी मेडिकल स्टोर संचालक आपसे जानकारी लेगा।
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संचालक भेजेंगे सरकार को डाटा
इसे गंभीरता से लेते हुए मेडिकल स्टोर संचालकों से कहा गया है वह तमाम डेटा रोज शाम 5 बजे तक सरकार द्वारा उपलब्ध गए पोर्टल पर अपलोड कर दें। डेटा सीधे राज्य सरकार को प्राप्त हो जाएगा। मेडिकल स्टोर को पोर्टल से सीधे डेटा डालने की सुविधा उपलब्ध कराई गई है।
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इसलिए निराश है संचालक
दवा कारोबारी निशांक द्विवेदी का कहना है कि इस महामारी में दवा बेचने में वैसे भी इतनी सावधानी बरतनी पड़ रही है। दवा, पैसे और खरीददार को हर बार सैनिटाइज करना होता है, ऊपर से आदमी कम है। ऐसे में ये किसी बोझ से कम नहीं है। इस काम में अलग से एक आदमी कहां से लाये, जो डिटेल नोट करे और बाद में सरकार को बताए। ये सुनने में जरूर अच्छा है लेकिन जमीनी स्तर पर मुश्किल है।
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