भारत-मोरक्को के बीच हुआ समझौता, आपराधिक, कानूनी मामले एक-दूसरे की करेंगे मदद
भारत और मोरक्को ने आपराधिक मामलों में एक दूसरे की सहायता करने और जरूरत पड़ने पर कानूनी मदद प्रदान करने को लेकर एक समझौते पर दस्तखत किये. गृह मंत्रालय ने यह जानकारी दी. भारत की ओर से केंद्रीय गृह राज्य मंत्री किरण रिजिजू और मोरक्को की ओर से न्याय मंत्री मोहम्मद औजर ने आपराधिक मामलों में आपसी कानूनी सहयोग पर समझौता किया.
गृह मंत्रालय के बयान में कहा गया कि समझौते से मोरक्को के साथ द्विपक्षीय सहयोग मजबूत होगा. अपराधों की रोकथाम, जांच और मुकदमे के लिए कानूनी ढांचा तैयार करने में मदद मिलने के साथ ही आतंकवादी कृत्यों को वित्तीय मदद का पता लगाने, रोकने और इसे जब्त करने में सहायता भी मिलेगी. बयान में कहा गया है कि दोनों मंत्रियों ने संगठित अपराध और आतंकवाद से पैदा होने वाली चुनातियों का संयुक्त तौर पर मुकाबला करने के प्रति संकल्प जताया.
आपको बता दें कि गत 8 नवंबर को केंद्रीय मंत्रिमंडल ने भारत और मोरक्को के बीच प्रत्यर्पण समझौते पर हस्ताक्षर करने और अनुमोदन को मंजूरी दे दी थी. दोनों देशों के बीच हुआ ये समझौता आर्थिक अपराधों, आतंकवाद और अन्य गंभीर अपराधों के आरोप में भगोड़ा अपराधियों के प्रत्यर्पण के लिए कानूनी आधार प्रदान करेगा.
भारत और मोरक्को के बीच हुए इस समझौते के बाद दोनों देशों के भगोड़े अपराधियों को आसानी से प्रत्यर्पित किया जा सकेगा. वये समझौता आतंकवाद और आर्थिक फ्रॉड करके भागने वाले दोषियों पर लगाम कसने में बड़ी भूमिका निभाएगा. इस समझौते के तहत दोनों देश इस तरह के अपराधियों से निपटने में एक दूसरे की मदद कर सकेंगे.