नाग पंचमी पर इन मंदिरों में देखने को मिलती है अलग ही रौनक, एक बार जरुर जाइये इन जगह…

भारत में नाग पंचमी के अवसर पर नाग देवता की पूजा होती है। जहां नागदेवता भगवान शिव के गले में विराजते हैं तो भगवान विष्णु उस पर सोते हैं। सावन महीने में भगवान शिव की पूजा का खास महत्व होता है और इसी के साथ नाग देवता को भी पूजने का। ऐसा माना जाता है कि बरसात के मौसम में वो बाहर आते हैं तो उनसे किसी प्रकार की हानि न हो इसलिए नाग पंचमी के अवसर पर उनकी पूजा उपासना की जाती है।नाग पंचमी पर इन मंदिरों में देखने को मिलती है अलग ही रौनक, एक बार जरुर जाइये इन जगह...

नाग पंचमी के अवसर पर इन मंदिरों में देखने को मिलता है अनोखा नज़ारा

मन्नारशाला मंदिर, केरल

ये सबसे बड़े और जाने-माने नाग मंदिरों में से एक है जो केरल के मन्नाशाला में स्थित है। नागदेवता को समर्पित इस मंदिर में लगभग 30,000 सांपों की मूर्तियां और फोटो हैं। कहा जाता है कि ये मंदिर 3000 साल पुराना है। शादी के बाद नवविवाहित जोड़े के मंदिर में दर्शन करने की परंपरा है। इसके अलावा निःसंतान दंपति भी यहां अपनी मुराद लेकर आते हैं।

भुजंग नाग मंदिर, गुजरात

गुजरात के भुज में है भुजिया फोर्ट। जिसके बारे में कहा जाता है कि ये किला कुल के आखिरी नाग को समर्पित है जिनकी लड़ाई में मृत्यु हो गई थी। इसलिए यहां के लोगों ने उनकी याद में भुजिया पहाड़ पर भुजंग नाग मंदिर बनवाया। हर साल नागपंचमी के उत्सव पर यहां बड़ा मेला लगता है।

कुके सुब्रहमन्या मंदिर, कर्नाटक

कुके सुब्रहमण्य मंदिर में नागों के देवता भगवान सुब्रहमण्य, वसुकी और शेषा की पूजा की जाती है। कुमारधारा नदी से घिरे इस मंदिर के पीछे कुमार पर्वत की ऊंची-ऊंची चोटियां दिखाई देती हैं जो इसकी खूबसूरती को दोगुना करती हैं। लोगों का कहना है कि मंदिर में दर्शन करने से सर्फ दोष दूर होता है।

शेषनाग मंदिर, जम्मू एंड कश्मीर

पुरानी मान्यताओं के अनुसार शेषनाग को भी सांपों का राजा कहा जाता है जिन्होंने पहलगाम के नज़दीक एक झील का निर्माण किया था। जो आज भी वहां निवास करते हैं। अमरनाथ यात्रा के दौरान तीर्थयात्री इस जगह पर शेषनाग के दर्शन और उनकी पूजा करते हैं।

नागनाथ स्वामी मंदिर, तमिल नाडु

तिरूनागेश्वरम में स्थित नागनाथ स्वामी मंदिर भगवान शिव का बहुत ही प्रसिद्ध मंदिर है। जहां केतु की पूजा की जाती है। इनके अलावा दक्क्षन, कारकोटाकन और आदि शेष नाग की भी पूजा का महत्व है।

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